10.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

एक दिवसीय हड़ताल पर रहे बीमा कर्मचारी

धनबाद: बीमा संशोधन अधिनियम 2015 को लोक सभा में पारित किये जाने के विरोध में अखिल भारतीय बीमा कर्मचारी संघ के अह्वान पर बीमा कर्मचारी सोमवार को हड़ताल पर रहे. एलआइसी के सभी आठ ब्रांचों व जीआइसी के 12 ब्रांचों में ताला लटका रहा. हड़ताल के कारण आज दस करोड़ का कारोबार प्रभावित हुआ. संघ […]

धनबाद: बीमा संशोधन अधिनियम 2015 को लोक सभा में पारित किये जाने के विरोध में अखिल भारतीय बीमा कर्मचारी संघ के अह्वान पर बीमा कर्मचारी सोमवार को हड़ताल पर रहे.

एलआइसी के सभी आठ ब्रांचों व जीआइसी के 12 ब्रांचों में ताला लटका रहा. हड़ताल के कारण आज दस करोड़ का कारोबार प्रभावित हुआ. संघ के पदाधिकारियों ने ब्रांच के मुख्य द्वार पर प्रदर्शन किया और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. वक्ताओं ने कहा कि विदेशी वित्तीय पूंजी एवं देशी कॉरपोरेट घरानों को खुश करने के लिए मोदी सरकार ने बीमा संशोधन अधिनियम 2015 को संसद में पारित किया. संसदीय मर्यादाओं का उल्लंघन करते हुए तानाशाही रवैया अपना कर बिल को पारित किया गया.

इस बिल के पारित होने से बीमा क्षेत्र में एफडीआइ में 26 से 49 प्रतिशत वृद्धि हो जायेगी. जीआइसी के निजीकरण करने का रास्ता खुलेगा. एलआइसी एवं जीआइसी में कार्यरत एजेंटों पर हमला बढ़ेगा तथा देश के बीमा बाजार पर विदेशी पूंजी का नियंत्रण हो जायेगा. देशी बचत को विदेशी एवं देशी पूंजीपति लूट लेंगे.यह देश हित में नहीं है.

एलआइसी एवं जीआइसी के सार्वजनिक स्वरूप पर हमला बढ़ेगा एवं देश की अर्थव्यवस्था गुलाम हो जायेगी. इस विधेयक के विरोध में देश भर में अखिल भारतीय संघ का एक दिवसीय हड़ताल थी. हड़ताल को सफल बनाने में संयुक्त सचिव हेमंत मिश्र, विजय विश्वकर्मा, धीरेन कुमार, शर्मिला सरकार, नीरज कुमार, सोमनाथ दास, विनोद दिवाकर, अलगु प्रसाद, देव चौधरी, सीमा भट्टाचार्या, सुबीर राय, संजीव रंजन, अमरजीत राजवंशी, संदीप सन्याल, बेजनाथ गु्प्ता, चंदन मिश्र, वासु बहादुर, रुपेश, प्रभाकर, सिद्धेश्वर मोदी, के सिंघल की सराहनीय भूमिका रही.

केंदुआ प्रतिनिधि के अनुसार धनसार स्थित एलआइसी शाखा दो के समक्ष एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन कर विरोध किया गया. इसमें बीमा कर्मचारी संघ एलआइसी धनबाद शाखा दो के संयुक्त सचिव नीरज कुमार समेत सुरेश कुमार, विनोद दिवाकर, अजय मुखर्जी, सोमनाथ दास, मंगल केरकेट्टा, राहुल प्रसाद आदि शामिल थे.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें