बोकारो: मेला! नाम सुनते ही मौज-मस्ती और भीड़ जेहन में चित्रित होने लगती है. बोकारो के लोग भी मेला खूब इंजॉय करते हैं. चाहे वह दुर्गा पूजा का मेला हो या फिर स्वदेशी, शिक्षा, उद्योग, क्राफ्ट या डिजनीलैंड मेला.
हां, वर्ष 1967 से बोकारो में लग रहा वसंत मेला को तो हम भूल ही गये. 22 फरवरी से शुरू हो रहे इस दो दिवसीय मेला का लोगों को बेसब्री से इंतजार है. मेला की तैयारी शुरू हो गयी है.
मेला की लोकप्रियता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि सभी स्टॉल व जगह की बुकिंग हो गयी है. इस बार का वसंत मेला बोकारो स्टील प्लांट के गोल्डेन जुबली को समर्पित होगा. इसमें बीएसएल के 50 वर्ष की झलक दिखेगी. परंपरागत रूप से मेला सिटी पार्क में लगेगा.
वसंत मेला में नगर सेवा विभाग की ओर से कुछ स्टॉल बनाकर दिये जाते हैं, जबकि कुछ को स्टॉल बनाने के लिए जमीन मुहैया करायी जाती है. मेला में बोकारो स्टील प्लांट के विभिन्न विभागों का स्टॉल होता है. यह मेला का मुख्य आकर्षण होता है. बोकारो महिला समिति का भी स्टॉल होता है. इसके अलावा आस-पास के उद्योग-धंधे, शिक्षण संस्थान, इलेक्ट्रॉनिक्स व इलेक्ट्रिक, वाहन, फास्ट फूड आदि का भी स्टॉल भी लगता है. दो दिनों तक मेला में पांव रखने तक की जगह नहीं मिलती.