गरीब परिवार से सत्ता के गलियारे तक का एमएलसी टून्न जी पांडेय का सफर
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मुंशी की नौकरी से शुरू किया कैरियर
गरीब परिवार से सत्ता के गलियारे तक का एमएलसी टून्न जी पांडेय का सफर शराब के व्यवसाय में आजमाया हाथ गरीबी में बीता था एमएलसी टून्न जी पांडेय का बचपन देहरादून में की मैट्रिक तक की पढ़ाई सीवान : एमएलसी टून्न जी पांडेय पर चलती ट्रेन में किशोरी के साथ छेड़खानी के आरोप को लेकर […]
शराब के व्यवसाय में आजमाया हाथ
गरीबी में बीता था एमएलसी टून्न जी पांडेय का बचपन
देहरादून में की मैट्रिक तक की पढ़ाई
सीवान : एमएलसी टून्न जी पांडेय पर चलती ट्रेन में किशोरी के साथ छेड़खानी के आरोप को लेकर हर तरफ चर्चा का बाजार गरम रहा. राजनीतिक हलकों से लेकर आम जनता में इसकी चर्चा होती रही. सभी अपने-अपने ढंग से इसकी व्याख्या कर रहे थे. जिले के दरौली थाना क्षेत्र के नेतवार गांव निवासी राधेश्याम पांडेय के पुत्र टून्न जी पांडेय का बचपन गरीबी में बीता. उनके पिता देहरादून के चीनी मिल में कर्मचारी थे.
टून्न जी पांडेय का बचपन देहरादून में ही बीता और वहीं से उन्होंने मैट्रिक पास की. इंटर तक की पढ़ाई करने के बाद टून्न जी पांडेय रोजी रोटी की तलाश में जुट गये. यूपी के एक बड़े शराब कारोबारी के यहां मुंशी की नौकरी शुरू की. फिर श्री पांडेय ने भी शराब कारोबार में हाथ अाजमाना शुरू किया. देखते-ही-देखते उनकी गिनती यूपी के बड़े शराब कारोबारियों में होने लगी. इसी बीच 2012 में सारण प्रक्षेत्र के तत्कालीन डीआइजी आलोक कुमार ने उनसे मोबाइल पर पांच करोड़ की रंगदारी की मांग शराब कारोबार के एवज में की. उनकी शिकायत पर ही डीआइजी आलोक कुमार को बरखास्तगी की सजा तक भुगतनी पड़ी. इसके बाद से ही टून्न जी पांडेय चर्चा में आ गये. स्थानीय निकाय के अंतर्गत दो बार लगातार एमएलसी बने.
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