सीतामढीः कंचनबाला आत्महत्या के मामले में राज्य मानवाधिकार आयोग ने डीजीपी अभयानंद से जानकारी मांगी है. आयोग का कहना है, इस मामले की जांचकर्ता आइजी शोभा अहोतकर ने अपनी रिपोर्ट में साफ पुलिस अधिकारियों की लापरवाही पायी थी. इस मामले में संबंधित अधिकारियों के खिलाफ क्या कार्रवाई की गयी है.
इस मामले में कंचनबाला के परिजनों की ओर से आयोग को आवेदन भेजा गया था, जिसमें न्याय की गुहार लगायी गयी थी. आवेदन में कहा गया था, पुलिस अधिकारियों की लापरवाही कंचनबाला की आत्महत्या की वजह बनी. ऐसे में संबंधित पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई होनी चाहिए. साथ ही पीड़ित परिवार को मुआवजा देने की मांग भी की गयी थी.
कंचनबाला पर आइजी शोभा अहोतकर की रिपोर्ट को प्रभात खबर ने विस्तार से छापा था, जिसमें साफ था, मामले में पुलिस अधिकारियों की ओर से लापरवाही की गयी. आरोपित बीरेंद्र साह के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गयी थी. कंचनबाला ने लगभग चालीस दिन तक पुलिस अधिकारियों के यहां गुहार लगायी थी. इसके बाद भी उसे न्याय नहीं मिला था. इसके बाद 23 अगस्त 2012 को उसने आत्महत्या कर ली थी.