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बाढ़ के पानी से घिरा सहुरिया पंचायत का हराहरी राम टोला, महिला वार्ड सदस्य खुद नाव चला लोगों की करने लगी मदद

बनमा ईटहरी (सहरसा) : कोसी बैराज से छोड़े जा रहे पानी एवं लगातार मूसलाधार बारिश ने बनमा ईटहरी क्षेत्र के बाढ़ प्रभावित लोगों की परेशानी बढ़ा दी है. स्थिति ऐसी है कि कहीं सड़क पर से पानी बह रहा है, तो कइयों के घर में पानी घुस गया है. जानकारी के अनुसार प्रखंड मुख्यालय के सहुरिया पंचायत के हराहरी राम टोला बाढ़ से पूरी तरह से घिर गया है. ऊंचे स्थान एवं सड़क को छोड़ दें तो कहीं भी सूखा नजर नहीं आ रहा है.

बनमा ईटहरी (सहरसा) : कोसी बैराज से छोड़े जा रहे पानी एवं लगातार मूसलाधार बारिश ने बनमा ईटहरी क्षेत्र के बाढ़ प्रभावित लोगों की परेशानी बढ़ा दी है. स्थिति ऐसी है कि कहीं सड़क पर से पानी बह रहा है, तो कइयों के घर में पानी घुस गया है. जानकारी के अनुसार प्रखंड मुख्यालय के सहुरिया पंचायत के हराहरी राम टोला बाढ़ से पूरी तरह से घिर गया है. ऊंचे स्थान एवं सड़क को छोड़ दें तो कहीं भी सूखा नजर नहीं आ रहा है.

वार्ड संख्या 17 के राम टोला में विलास राम, मनोज राम, कपलेश्वर राम, कुलेश्वर राम, तुलो राम, अजीत कुमार, सुमित्रा देवी, बाल किशोर सादा समेत 50 से अधिक लोगों के घर बाढ़ के पानी से चारों तरफ से प्रभावित हैं. आने-जाने के लिए कोई रास्ता नहीं बचा है. महज पांच फीट की दूरी पर तिलावे नदी है. इससे लोगों में भय बना रहता है. लोगों को अगर मुख्य सड़क पर आना होता है, तो वार्ड सदस्य उर्मिला देवी को फोन करके नाव लेकर उन्हें बुलाया जाता है. उसके बाद उर्मिला देवी खुद जान को जोखिम में डाल कर नाव चला कर तीन किलोमीटर की यात्रा कर अपने नाव के सहारे मुख्य सड़क पर लोगों को लाकर छोड़ती हैं. इस दौरान वे लोगों से एक रुपये भी नहीं लेती हैं. बताया जाता है कि ऐसा वह सप्ताह भर से कर रही हैं.

उर्मिला देवी ने बताया कि हर साल बाढ़ आने से इस गांव की स्थिति काफी भयावह हो जाती है. खासकर पशुपालकों को काफी परेशानी होती है. बाढ़ आने से यहां के पशुपालक अपने पशु को लेकर पलायन करने लगते हैं. यह इलाका काफी संवेदनशील माना जाता है. यहां कोई भी पदाधिकारी जल्दी नहीं आ पाते हैं. वजह पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि इसी जगह आज से कई साल पहले सतपाल सिंह डीएसपी की हत्या हुई थी. पूरा इलाका उस समय पुलिस छावनी में तब्दील था. आज भी खासकर मक्का खेती के समय इस इलाके में बदमाशों का बोलबाला रहता है. इस वजह से यहां कोई भी पदाधिकारी नहीं आ पाते हैं.

उन्होंने बताया कि अधिकतर सड़कों पर पानी बह रहा है. परसाहा जाने वाली सड़क पर करंट की तीव्रता से पानी बह रहा है. पुल पुलिया पानी में बह गये तो कहीं टूट कर बिखर गये, तो कहीं जीर्ण-शीर्ण अवस्था में पड़े हैं. सड़कों पर रेनकट जैसे हालात हैं. राम टोला में बाढ़ के पानी से बचने के लिए छोटे-छोटे बच्चे दिन भर घर के छप्पर पर रहते हैं. पानी पीने के लिए संघर्ष कर नाव के सहारे चापाकल से पानी निकालते हैं एवं बर्तन धोते हैं. शौचालय की काफी दुर्गम स्थिति है. सड़कों पर बहते पानी से लोग आवाजाही कर रहे हैं, जिससे कभी भी घटना हो सकती है.

उर्मिला देवी ने जिलाधिकारी से गुहार लगाते कहा कि हाकिम साहेब, थोड़ा हम गरीब लोगों पर भी रहम कीजिए. इधर भी दौरा करके देख लीजिए कि किस हालात में रह रहे हैं. वहीं, विलास राम, मनोहर राम, कपलेश्वर राम, कुलेश्वर राम ने कहा कि अब तक प्रशासन ने हमलोगों के लिए किसी तरह की कोई व्यवस्था नहीं की है. हमलोगों के लिए खाने-पीने के लिए लाले पड़ रहे हैं. अनाज भींग गये हैं. चारों तरफ पानी घिर गया है. घरों में पानी है. घर जलमग्न होने से घर का खुट्टा खंभा धंसने लगा है. हालांकि, राम टोला के कुछ लोग कुछ दिनों से स्कूल पर रह रहे थे. लेकिन, अब स्कूलों में भी पानी घुसने से लोग त्राहिमाम की स्थिति में है.

अंचलाधिकारी अक्षय वट तिवारी ने कहा कि जिलाधिकारी के निर्देशानुसार सहुरिया पंचायत के मुखिया मंजूदल हसन से मैंने फोन के माध्यम से बात की. उनको कहा है कि जिनके पास हराहरी राम टोले में नाव है. उन सभी की सूची बनाकर हमें दें. उन सभी का निबंधन कर वहां के लोगों के लिए नाव की व्यवस्था की जायेगी. साथ ही जो समस्या है, उन समस्याओं का भी निदान किया जायेगा.

Posted By : Kaushal Kishor

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