पूर्णिया कोर्ट : त्वरित न्यायालय संख्या द्वितीय रमेश चंद्र मिश्र की न्यायालय ने गुरुवार को डकैती व हत्या के एक मामले की सुनवाई करते हुए जगदीश मेहता, मनोज मेहता, हरिलाल मेहता, विशनुदेव मेहता, मनीष उर्फ मनोज मेहता, सुबोध मेहता तथा विनोद मेहता को 10 वर्ष की सजा और प्रत्येक को 10 हजार रुपये जुर्माना लगाया है. अभियुक्तों में जगदीश मेहता व मनोज मेहता बड़हारा थाना क्षेत्र के पटराहा गांव के तथा शेष लोग धमदाहा थाना क्षेत्र के मोकमा के निवासी हैं.
जुर्माना नहीं देने पर सजा में 5 माह की अवधि और बढ़ जायेगी.
मामला सत्रवाद संख्या 986/02 से संबंधित है. जिसके लिए बड़हारा थाना कांड 80/01 दर्ज करवाया गया था. सूचक पटराहा के देवानंद मेहता थे, जिन्होंने प्राथमिकी में कहा था कि 21 दिसंबर 2001 की रात 12 बजे जब वे सो रहे थे तो घर के पीछे का टाटी तोड़ कर 15-20 व्यक्ति आंगन में प्रवेश कर उसके घर में घुस गये. खास बात यह थी कि सभी लोगों ने पुलिस की वर्दी पहन रखी थी. उनके बड़े भाई परमानंद महतो ने जब आवाज दिया तो उसको तीन गोली कनपट्टी व जांघ में मार दी गयी.
उसके बाद सभी लोग घर के कीमती सामान, जेवरात और बरतन अपने साथ ले गये. सूचक ने अपने भाई को ग्रामीणों के सहयोग से सदर अस्पताल लाया जहां इलाज के दौरान बाद में उसकी मौत हो गयी. मामले के साक्ष्य एवं अन्य तथ्यों को देखते हुए अंतत: न्यायालय ने आरोपित को दोषी पाते हुए सजा सुनायी.