कैंपस : मॉडल स्कूलों में फायर सेफ्टी के लिए हो रही खास व्यवस्था
शिक्षा विभाग की ओर से निजी स्कूलों के तर्ज पर सरकारी स्कूलों को मॉडल स्कूल तैयार करने की शुरुआत कर दी है. मॉडल स्कूल तैयार करने की शुरुआत शहर के हाइस्कूलों से की गयी है.
संवाददाता, पटना
शिक्षा विभाग की ओर से निजी स्कूलों के तर्ज पर सरकारी स्कूलों को मॉडल स्कूल तैयार करने की शुरुआत कर दी है. मॉडल स्कूल तैयार करने की शुरुआत शहर के हाइस्कूलों से की गयी है. जिले के चयनित स्कूलों को मॉडल बनाने के लिए विभाग की ओर से पांच करोड़ रुपये आवंटित किये गये हैं. मॉडल स्कूलों में बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ ही फायर सेफ्टी की भी खास व्यवस्था की जायेगी. फायर सेफ्टी के लिए इंजीनियरों की टीम ने ले आउट तैयार कर लिया है. फायर सेफ्टी के लिए अलग से पाइपलाइन और फायर एक्सटिंग्विशर की व्यवस्था की जायेगी. इसके साथ ही विद्यार्थियों के एमर्जेंसी एग्जिट के लिये भी दो सीढ़ियों की व्यवस्था की जायेगी. इसके साथ ही स्कूलों में आपदाओं से बचाव के लिए भी यूथ क्लब की ओर से प्रशिक्षण सत्र का भी आयोजन किया जायेगा. फायर सेफ्टी के लिए लगाये गये उपकरणों की समय-समय पर जांच करने की जिम्मेदारी स्कूल के प्रधानाध्यापकों की होगी. इसके साथ ही शिक्षकों और विद्यार्थियों को फायर एक्सटिंग्विशर इस्तेमाल करने का भी प्रशिक्षण दिया जायेगा.माध्यमिक स्कूलों में लगाये जायेंगे फायर एक्सटिंग्विशर
फायर सेफ्टी का ख्याल रखते हुए जिले के सभी माध्यमिक स्कूलों में भी फायर एक्सटिंग्विशर लगाये जायेंगे. पहले चरण में जिन स्कूलों में मध्याह्न भोजन तैयार किया जाता है, वहां वायर एक्सटिंग्विशर लगाया जायेगा. जिला शिक्षा पदाधिकारी संजय कुमार ने बताया कि सभी स्कूलों के प्रधानाध्यापकों को फायर एक्सटिंग्विशर लगाने का निर्देश दिया गया है. माध्यमिक स्कूलों के अलावा भी सभी प्राथमिक और हाइस्कूलों में फायर एक्सटिंग्विशर लगाये जायेंगे. स्कूलों का निरीक्षण करने के लिए जाने वाले निरीक्षण कर्मी इन मानकों की भी जांच करेंगे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है