पटना सिटी : दुर्गा की प्रतिमाओं का निर्माण करनेवालों की परेशानी मिट्टी नहीं मिलने के कारण बढ़ती जा रही है. उन्हें यह चिंता सता रही है कि वह समय पर पूजा–पंडालों तक मूर्तियों को पहुंचा पायेंगे या नहीं.
क्योंकि, मिट्टी नहीं मिल पाने की वजह से अधिकांश मूर्ति आधी–अधूरी स्थिति में है. वर्तमान में ढ़ाई हजार रुपये प्रति ट्रैक्टर मिट्टी मिल रही है, वह भी कुछ ही घाटों से मिट्टी की कटाई हो रही है.
2500 रुपये ट्रैक्टर मिट्टी
मच्छहरट्टा गली स्थित मैदान, बेलबरगंज, हमाम, लोहा के पुल, चौकशिकारपुर आदि स्थानों पर सामूहिक रूप से मूर्तियों का निर्माण होता है. वहीं, प्रमुख पंडालों में मूर्तियों का निर्माण पंडाल के अंदर ही मूर्तिकार करते हैं. इस वर्ष गंगा के जलस्तर बढ़ने के कारण मूर्ति बनाने के लिए मिट्टी नहीं मिल रही है.
मूर्तिकार बबलू का कहना है कि घाटों तक पानी आ जाने से मिट्टी का कटाव हो गया है. इसके कारण मिट्टी नहीं मिल रही है. मैं काफी संख्या में मूर्ति का ऑर्डर ले रखा हूं. अभी स्टॉक की गयी मिट्टी से काम चल रहा है. विश्कर्मा पूजा में तो किसी तरह काम चल जायेगा, लेकिन दुर्गा पूजा को लेकर चिंता सताने लगी है.
मच्छरहट्टा के मूर्तिकार सीता राम ने बताया कि इस वर्ष सबलपुर से ढ़ाई से तीन हजार रुपये प्रति ट्रैक्टर मिट्टी मंगा रहे हैं, जबकि इसके पूर्व एक हजार से 1200 रुपये प्रति ट्रैक्टर मिट्टी मिल जाती थी.