खाद्य सुरक्षा अधिनियम से मुक्ति की जरूरतबख्तियारपुर . वर्तमान खाद्य सुरक्षा अधिनियम एक तात्कालिक व्यवस्था है, जरूरत इस बात की है देश में ऐसी नीतियां बनायी जाये कि देश का किसान पर्याप्त उत्पादन करें व उत्पादन व वितरण में सामंजस्य बनाया जाये, ताकि देश के किसी हिस्से में खाद्य संकट न हो. हमें कृषि उत्पादन में वृद्धि कर ऐसे अधिनियमों से मुक्ति की जरूरत है. उक्त बाते रामलखन सिंह यादव महाविद्यालय में अर्थशास्त्र विभाग द्वारा आयोजित (खाद्य सुरक्षा चुनौती उपलब्धियों एवं नीतियां) विषय पर मुख्य अतिथि पद से बोलते हुए विधान पार्षद प्रो नवल किशोर राय ने कहीं. अपने प्रथम उद्बोधन में प्रो एमपी श्रीवास्तव ने कहा कि हरित क्रांति व पीली क्रांति के जरिये हमने कृषि क्षेत्र में उन्नति की है. लेकिन देश में पर्याप्त मानव संसाधन, भू संसाधन एवं जल संसाधन के बावजूद देश यदि खाद्य संकट से जूझ रहा है तो नीतियों अथवा उनके क्रियान्वयन में त्रुटी है. सेमिनार के संयोजक प्रो जवाहर लाल सिंह ने सभी आगत अतिथियों को अंग वस्त्र व पुष्प प्रदान कर स्वागत किया. मौके पर प्राचार्य डॉ प्रवीण कुमार, प्रो विनोद यादव, जिला पार्षद लल्लू राय आदि मौजूद थे. मोकिन फ्रंट का धरना (फोटो सं.-1)बख्तियारपुर . दंगा युक्त भारत अल्पसंख्यक छात्र व छात्राओं के साथ सरकारी सुविधा में भेदभाव से मुक्ति सहित अन्य मांगों को लेकर भारतीय मोमिन फ्रंट के सदस्यों ने प्रखंड कार्यालय पर धरना दिया.अध्यक्षता ललिता सिंह एवं संचालन विकास यादव ने किया. डॉ महबूब आलम अंसारी, मो कमरूद्दीन शाह आदि ने धरने को संबोधित किया.
बख्तियारपुर की खबर पेज 6
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