पथ निर्माण विभाग की महत्वपूर्ण योजनाओं का CM नीतीश ने किया समीक्षा, दिये कई निर्देश
पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को एक अणे मार्ग स्थित संवाद में पथ निर्माण की महत्वपूर्ण योजनाओं की समीक्षा की. पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने मुख्यमंत्री के समक्ष योजनाओं की विस्तृत प्रस्तुति दी. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि बख्तियारपुर-मोकामा फोर लेन का काम जल्द से जल्द […]
पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को एक अणे मार्ग स्थित संवाद में पथ निर्माण की महत्वपूर्ण योजनाओं की समीक्षा की. पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने मुख्यमंत्री के समक्ष योजनाओं की विस्तृत प्रस्तुति दी. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि बख्तियारपुर-मोकामा फोर लेन का काम जल्द से जल्द शुरू करें. जिलाधिकारी को भूमि अधिग्रहण संबंधी समस्या का समाधान करने के लिए आवश्यक कदम उठाने का भी निर्देश दिया. पंडारक से बख्तियारपुर तक तत्काल कार्य प्रारंभ करने का निर्देश भी दिया गया. राजेंद्र सेतु के समानांतर नया छह लेन गंगा ब्रिज के निर्माण में तेजी लाने और पहुंच पथ को ठीक करने को कहा गया. बेगूसराय जिले में भू-अर्जन की समस्या का हल करते हुए जिन परिवारों को विस्थापित किया जा रहा है, उन्हें संरचना के बदले मुआवजा देने को कहा गया और प्राथमिकता के आधार पर आवास उपलब्ध कराने पर विचार किया जायेगा. उन्होंने कहा कि सिमरिया घाट धार्मिक-दृष्टिकोण से राज्य का एक महत्वपूर्ण स्थल है, उसे भी बेहतर व सुविधायुक्त बनाया जाये.
बैठक में मुंगेर घाट–खगड़िया रोड सह ब्रिज के पहुंच पथ के निर्माण कार्य को भी तेज करने को कहा गया. मुंगेर घाट रेल ब्रिज में टोपो लैंड पर रह रहे परिवारों की अर्जनाधीन भूमि को विधि सम्मत मुआवजा देने की बात कही गयी. मुख्यमंत्री को जानकारी दी गयी कि भू-अर्जन करके एनएचएआई को जमीन उपलब्ध कराया जा रहा है. जो जमीन अधिग्रहित कर सौंपा गया है, एनएचएआई को तत्काल उस पर काम शुरू करने को कहा गया है. सुल्तानगंज से अगुवानी घाट पुल का निर्माण कार्य लगभग 30 प्रतिशत पूर्ण हो चुका है, उसमें भी तेजी लाने का मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया. मार्च 2020 तक इसे पूर्ण करने का लक्ष्य है. यहां बन रहे डॉल्फिन सेंटर से भी इसकी पहुंच सुनिश्चित करने को कहा गया है.
मुंगेर-भागलपुर- मिर्जा चौकी फोर लेन पथ पूर्वी बिहार के आवागमन के दृष्टिकोण से एक महत्वपूर्ण पथ है जिसे जल्द से जल्द पूरा करने पर जोर दिया गया. बंगरा घाट पुल, मुजफ्फरपुर जिले के साहेबगंज व सारण जिले के लखनपुर के बीच बन रहा है. इसका निर्माण कार्य जल्द से जल्द पूरा करने और एप्रोच रोड का काम शुरू करने का मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया. सत्तर घाट पुल गोपालगंज जिले के फैजुल्लाहपुर और पूर्वी चंपारण जिले के लाला छपरा के बीच बनाया जा रहा है. इसे मई 2019 तक पूरा करने के लिए मुख्यमंत्री को आश्वस्त किया गया है.
मुख्यमंत्री को जानकारी दी गयी कि गंडक नदी पर बेतिया-गोपालगंज पथ पर आवागमन चालू है, इसके एप्रोच रोड को 10 मीटर चौड़ी सड़क बनाने के लिए भू-अर्जन का काम चल रहा है, उसके बाद कार्य को तेजी से पूर्ण किया जायेगा. इंडो–नेपाल बॉर्डर पथ पश्चिम चंपारण के मदनपुर से प्रारंभ होकर किशनगंज के गलगलिया तक जाता है. यह पथ राज्य के सात जिलों से होकर गुजरती है. इन सात जिलों के कुल 365 गांवों में कुल 2894 एकड़ भूमि का अधिग्रहण होना है. जमीन अधिग्रहण की ज्यादा समस्या अररिया जिले में है.
मुख्यमंत्री ने अररिया जिले के जिलाधिकारी को तत्काल इस समस्या का समाधान निकालने को कहा है. राज्य सरकार के अनुरोध पर इस योजना को पूर्ण करने के लिए भारत सरकार ने मार्च 2022 का समय निर्धारित किया है. दिसंबर 2020 तक इसे पूर्ण करने की कोशिश की जा रही है. स्टेट हाइवे 95 खगड़िया के एनएच 31 के मानसी से प्रारंभ होकर सहरसा व मधेपुरा जिला होते हुए सुपौल जिलांतर्गत हरदी चौघड़ा में मिलती है. बैठक में जमीन अधिग्रहण के लिए रेल मंत्रलय से बात करने को कहा गया. साथ ही आरओबी के निर्माण के लिए भी सहमति लेने को कहा गया. यह पथ (75 किलोमीटर) चार जिलों- खगड़िया, सहरसा, मधेपुरा व सुपौल को आपस में जोड़ेगा जिससे आवागमन में सहुलियत होगी.
समीक्षा बैठक में पथ निर्माण मंत्री नंदकिशोर यादव, प्रधान सचिव भूमि एवं राजस्व सुधार ब्रजेश मेहरोत्रा, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव चंचल कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव मनीष कुमार वर्मा, अध्यक्ष बिहार राज्य पुल निर्माण निगम लिमिटेड जितेंद्र श्रीवास्तव, सचिव परिवहन संजय अग्रवाल, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, एनएचएआई के प्रमुख अधिकारीगण और राज्य सरकार के अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे. बैठक में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये 9 जिलों के जिलाधिकारी और आयुक्त भी जुड़े हुए थे.