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बिहार : लालच से नष्ट हो रहा पर्यावरण, युवा पीढ़ी खतरों को ले हो जागरूक : नीतीश कुमार
पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि धरती इंसान की जरूरतें पूरी करने में सक्षम है, उसके लालच को नहीं. लोगों में लालच का भाव ही पर्यावरण को नष्ट करता जा रहा है. अगर हमारा व्यवहार प्राकृतिक नहीं होगा, हम प्रकृति को ठीक ढंग से नहीं समझेंगे तो यह दुनिया को नष्ट कर देगा. […]
पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि धरती इंसान की जरूरतें पूरी करने में सक्षम है, उसके लालच को नहीं. लोगों में लालच का भाव ही पर्यावरण को नष्ट करता जा रहा है.
अगर हमारा व्यवहार प्राकृतिक नहीं होगा, हम प्रकृति को ठीक ढंग से नहीं समझेंगे तो यह दुनिया को नष्ट कर देगा. मुख्यमंत्री सोमवार को श्रीकृष्ण विज्ञान केंद्र में देश के सातवें साइंस ऑन ए स्फियर का शुभारंभ करने के बाद बच्चों को संबोधित कर रहे थे. सीएम ने कहा कि प्राकृतिक संसाधन हमें विरासत में मिली है.
लेकिन, ग्लोब पर खुली आंखों से कर सकेंगे सौरमंडल का अनुभव इसके दुरुपयोग से पर्यावरण पर संकट के बादल हैं. बिहार में ही मौसम के बदलाव से वार्षिक औसत वर्षापात 1200-1500 एमएम से घट कर 800 एमएम रह गया है. मौसम आधारित फसलों के लिए यह स्थिति ठीक नहीं है. यह सूबा हर साल सूखा और बाढ़ दोनों स्थिति से जूझता है.
भ्रमण योजना में दिखाया जायेगा स्फियार
साइंस अॉन ए स्फेयर की खासियत बताते हुए कहा कि मुख्यमंत्री शिक्षा भ्रमण योजना के तहत स्कूली बच्चों को इसे दिखाया जायेगा ताकि उनमें पर्यावरणीय मुद्दों को लेकर समझ और ज्ञान बढ़े. यही नहीं, उन्होंने बिहार म्यूजियम की तरह प्रस्तावित साइंस सिटी को ड्रीम प्रोजेक्ट बताते हुए इसे आकर्षक बनाये जाने की बात कही.
ब्रह्मांड व पृथ्वी को लेकर बढ़ेगी उत्सुकता व जागरूकता
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पटना विवि के कुलपति प्राे आर बी सिंह ने कहा कि नया प्रोजेक्ट ब्रहांड और पृथ्वी के बीच हमारी पहचान को समझने व इसको लेकर उत्सुकता व जागरूकता बढ़ाने में मदद करेगा. जर्मनी से लाये गये इस उपकरण की मदद से बच्चे देख सकेंगे कि आकाशगंगा कैसे बनती है. स्फियार नासा सैटेलाइट से जुड़ा है.
इसके चलते महज 10 मिनट के अंतराल में हमें दुनिया भर की किसी भी बड़ी हलचल की सीधी जानकारी मिल सकेगी. इस मौके पर राष्ट्रीय विज्ञान संग्रहालय परिषद के महानिदेशक एडी चौधरी, बिड़ला औद्योगिक एवं प्रौद्योगिक संग्रहालय कोलकाता के निदेशक शेख इ इस्लाम, वरिष्ठ संग्रहालयाध्यक्ष शुभाशीष दास और श्रीकृष्ण विज्ञान केंद्र के प्रोजेक्ट कार्डिनेटर अमिताभ भी मौजूद रहे.
प्राकृतिक संसाधन का नहीं करें दुरुपयोग
अगली पीढ़ी तक संसाधन पहुंचाना हमारी जिम्मेदारी
नीतीश ने कहा कि आबादी के घनत्व के लिहाज से बिहार का ग्रीन कवर 17 फीसदी होना चाहिए, लेकिन वर्ष 2005 से पहले यह महज नौ फीसदी था.
इसे बढ़ा कर करीब 14 फीसदी के आस पास कर लिया गया है. अगर पर्यावरण का ऐसे ही दुरुपयोग होता रहा तो लंबे समय तक इसे संरक्षित कर नहीं रखा जा सकेगा. नयी पीढ़ी पर्यावरण के बदलाव से हो रहे खतरों को लेकर जागरूक है. हमारी भी जिम्मेदारी है कि इस संसाधन को अाने वाली पीढ़ियों के लिए संरक्षित रखने में अपनी भूमिका निभाएं.
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