पटना : स्वास्थ्य विभाग के संविदा कर्मियों की अनिश्चितकालीन हड़ताल के तीसरे दिन राजधानी में स्वास्थ्य व्यवस्था प्रभावित हो गयी है. जिले के शहरी और ग्रामीण अस्पतालों में डाटा इंट्री ऑपरेटर के हड़ताल के कारण जहां मैनुअली रजिस्ट्रेशन हो रहा है, वहीं अस्पतालों का हाल यह है कि केवल नियमित डॉक्टरों के भरोसे ही वे संचालित हो रहे हैं, जिनकी संख्या काफी कम है.
संविदा पर नियुक्त स्वास्थ्य कर्मियों के तीसरे दिन की हड़ताल बुधवार की सुबह से काफी प्रभावी रही और राजधानी के शहरी स्वास्थ्य केंद्र में मरीजों को एक अदद पुर्जा कटाने कटाने के लिए भी कड़ी मशक्कत करनी पड़ी. गार्डिनर रोड, राजवंशी नगर, राजेंद्र नगर सहित गर्दनीबाग अस्पताल में नियमित कर्मचारियों के भरोसे ही मरीजों का इलाज किया गया.
क्या कहते हैं सिविल सर्जन
सिविल सर्जन प्रमोद कुमार झा ने बताया कि संविदा कर्मियों के हड़ताल पर चले जाने के कारण बहुत परेशानी हो रही है सरकार इसका जल्द-से-जल्द समाधान करे, ताकि मरीजों की परेशानी खत्म हो. विकल्प के तौर पर मौजूद लोगों से ही काम ले रहे हैं.
संविदा कर्मी शर्तों का उल्लंघन करते हैं तो उनको हटा दिया जाये
पटना : स्वास्थ्य विभाग के संविदा कर्मी अपनी विभिन्न मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं. विभाग इसको लेकर सख्त है. विभाग के प्रधान सचिव आरके महाजन ने सभी जिलाधिकारी व सिविल सर्जन को पत्र भेजकर कहा है कि अगर संविदा कर्मी शर्तों का उल्लंघन करते हैं तो उनको हटा दिया जाये़ अगर कार्रवाई होती है, तो इससे 70 से 80 हजार कर्मचारी इस आंदोलन में शामिल हैं.