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मातृत्व अवकाश पर थी, अब स्कूल में नहीं हो पा रही है ज्वाइनिंग
जन्म के बाद बच्चे का हुआ तीन ऑपरेशन स्कूल नहीं आ पायी पटना : शिक्षिका अर्चना स्कूल से मातृत्व अवकाश पर थीं. डिलेवरी के बाद बच्चे के मलद्वार में दिक्कत थी, डाॅक्टर ने ऑपरेशन करवाने को कहा. जन्म के सात दिन के अंदर ऑपरेशन हुआ. इसके चार महीने के बाद फिर ऑपरेशन हुआ. इस बीच […]
जन्म के बाद बच्चे का हुआ तीन ऑपरेशन स्कूल नहीं आ पायी
पटना : शिक्षिका अर्चना स्कूल से मातृत्व अवकाश पर थीं. डिलेवरी के बाद बच्चे के मलद्वार में दिक्कत थी, डाॅक्टर ने ऑपरेशन करवाने को कहा. जन्म के सात दिन के अंदर ऑपरेशन हुआ. इसके चार महीने के बाद फिर ऑपरेशन हुआ. इस बीच मातृत्व अवकाश समाप्त हो गया. लेकिन, मैं हर दो महीने पर इसकी जानकारी स्कूल, जिला शिक्षा कार्यालय और नगर पंचायत कार्यालय को देती रही. अब जब मेरा बच्चा थोड़ा ठीक हुआ है, तो स्कूल ज्वाइन करने आयी. लेकिन स्कूल वाले ज्वाइन नहीं करवा रहे हैं. एक अप्रैल से ही चक्कर लगा रही हूं. स्कूल यह कह कर वापस कर दे रहा है कि उनकी सेवा समाप्त कर दी गयी है. अब शिक्षिका परेशान होकर पटना जिला शिक्षा कार्यालय पहुंची. अर्चना हाइस्कूल, फतुहा में फिजिकल एजुकेशन की शिक्षिका हैं.
बच्चा बीमार था सर, कैसे करती ड्यूटी ज्वाइन
शिक्षिका अर्चना ने डीइओ को दिये आवेदन में कहा है कि सर बच्चा बीमार था, कैसे ड्यूटी ज्वाइन करती. आवेदन के अनुसार एक अगस्त, 2015 से वो मातृत्व अवकाश पर थी. 30 अगस्त को बच्चे का जन्म हुआ. जन्म के सात दिनों के बाद 9 सितंबर, 2015 को पहला ऑपरेशन हुआ. उसके बाद दूसरा ऑपरेशन 15 अगस्त, 2016 को हुआ. इस दौरान वह इमरजेंसी में भरती रहा. तीसरा आॅपरेशन 16 नवंबर, 2016 को हुआ. इसके बाद डॉक्टर ने 12 हफ्ते तक इंतजार करने को कहा. साथ में बच्चे के बचने की संभावना नहीं होने की भी बात डॉक्टर ने कही. फरवरी, 2017 से थोड़ा सुधार हुआ है, बच्चे को घर लायी. पूरे दो साल हॉस्पिटल में ही रहना पड़ा. अवकाश 2015 दिसंबर में समाप्त हो गयी. लेकिन, इस बीच बच्चे की स्वास्थ्य की जानकारी स्कूल को देती रही.
मैं तो आवेदन देकर थक गयी हूं
शिक्षिका अर्चना ने बताया कि मैं एक अप्रैल से लगातार दौड़ रही हूं. स्कूल प्राचार्य के अलावा फतुहा नगर पंचायत को कई बार आवेदन दे चुकी हूं. नगर पंचायत ने मुझे यह कह कर वापस कर दिया कि अब जो होगा जिला शिक्षा कार्यालय से ही होगा. मुझे डीइओ कार्यालय भेज दिया गया.
नियमावली की जानकारी नहीं
शिक्षक नियोजन नियमावली में आये दिन संशोधन होते हैं, पर इसकी जानकारी के अभाव के कारण नगर पंचायत स्तर पर सही निर्णय नहीं लिया जाता है. इसका खामियाजा संबंधित शिक्षकों को भुगतना पड़ता है. शिक्षक नियोजन नियमावली 2006 के 12 में संशोधन किया गया है.
संशोधित नियमावली के अनुसार तीन माह के बाद पर्याप्त कारण बता कर अगर कोई शिक्षक स्कूल में अनुपस्थित रहते हैं, लेकिन साथ में इसकी सूचना प्रमाण के साथ शिक्षक समय-समय पर देते हैं, तो उनकी छुट्टी को मान्य माना जायेगा. फतुहा नगर पंचायत को इस संशोधन नियमावली की जानकारी नहीं होने के कारण इसका खामियाजा शिक्षिका अर्चना को भुगतना पड़ रहा है.
मेरी नजर में यह मामला एक सप्ताह पहले आया है. मैंने तुरंत शिक्षिका की ज्वाइनिंग हो, इसके लिए प्रयास शुरू कर दी है. जल्द ही शिक्षिका की ज्वाइनिंग हो जायेगी.
महेश प्रसाद, डीपीओ, जिला शिक्षा कार्यालय
मैंने शिक्षिका के संबंध में डीइओ कार्यालय को लिखा है. डीइओ स्तर पर दिशा निर्देश आना है. जैसे ही दिशा निर्देश आयेगा हम अागे की कार्रवाई करेंगे.
श्याम नंदन प्रसाद, एजुकेशन ऑफिसर, नगर पंचायत, फतुहा
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