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अपराधी समझ एस्सेल की विजिलेंस टीम की पिटाई

अपराधी समझ एस्सेल की विजिलेंस टीम की पिटाईबिजली चोरी की जांच कर कनेक्शन काटने गये थे लोगघर में घुस कर गलत हरकत करने का लगा आरोप पांच लोगों में दो कर्मी भागने में रहे सफलथाना से पीआर बाउंड भर कर तीनों को छोड़ा ग्रामीणों व एस्सेल के बीच लोगों के छोड़ने की बनी सहमति प्रतिनिध, […]

अपराधी समझ एस्सेल की विजिलेंस टीम की पिटाईबिजली चोरी की जांच कर कनेक्शन काटने गये थे लोगघर में घुस कर गलत हरकत करने का लगा आरोप पांच लोगों में दो कर्मी भागने में रहे सफलथाना से पीआर बाउंड भर कर तीनों को छोड़ा ग्रामीणों व एस्सेल के बीच लोगों के छोड़ने की बनी सहमति प्रतिनिध, मड़वनकरजा थाना क्षेत्र के मड़वन में शुक्रवार को एस्सेल कंपनी के विजिलेंस टीम के सदस्य बनकर आये तीन लोगों को ग्रामीणों ने अपराधी समझ कर शुक्रवार को जमकर पिटाई की. उसे कर्मियों को पुलिस के हवाले कर दिया. लोगाें का आरोप था कि मड़वन निवासी मो नुरूल होदा के घर में सभी ने अचानक अमर्यादित हरकतें करना शुरू कर दिया. घर के लोगों ने इसका विरोध करते हुए हल्ला करना शुरू कर दिया. हल्ला को सुनकर स्थानीय ग्रामीणों ने पहुंच जमकर पिटाई की. इस दौरान वहां से दो लोग भागने में सफल रहे. जबकि तीन कर्मियों को पकड़ लिया गया. जिसमें रूपम कुमार, ऋषिकेश व निलेश कुमार शामिल हैं. मौके पर पहुंचे स्थानीय प्रमुख मो मोहसिन ने सभी से पूछताछ की. तब पकड़े गये लोगों ने कहा, हमलोग एस्ससेल कंपनी के विजिलेंस कर्मी हैं. मीटर जांच करने आये है. तब लोगों ने उससे पहचान पत्र की मांग की. सिर्फ एक के पास ही पहचान पत्र था. बाकी दो लोग का कहना था कि दो चार दिन पहले ही हमलोगों को काम पर रखा गया. काफी पूछताछ के दौरान पता चला कि सभी ठेकेदार के द्वारा नियुक्त किये गये हैं. ठेकेदार काम करवाते हैं. कंपनी के नाम पर भेजा जाता है. बाद में घटना की सूचना पर एस्सेल विद्युत वितरण कंपनी के पीआरओ राजेश कुमार कुमार व उसके साथ एक ठेकेदार पहुंचे जहां लोगों ने उसे काफी कुछ कह दिया. कहा, कंपनी के काम से अगर भेजा जाये तो पहले कार्ड दिखाकर अंदर जाये नहीं तो इस इलाके में अभी डकैतों की काफी चर्चा है. अंजाम गलत हो सकता है. काफी मशक्कत के बाद प्रमुख मो मोहसिन मो जाबिर सहित के साथ कंपनी के पहुंचे राजेश कुमार ने गलती स्वीकार की. स्थानीय लोगों और एस्सेल कंपनी के बीच आपसी सहमति बनी. पीआर बाउंड भरकर करजा पुलिस ने तीनों कर्मी को छोड़ दिया. इधर, कंपनी के पीआरओ राजेश कुमार चौधरी ने कहा, लोगों ने कर्मियों को अपराधी समझ लिया था. लेकिन जब हकीकम समझ में आयी तो सभी ने सहयोग किया. पांचाें लोग विजिलेेंस डिस्कनेक्शन टीम के सदस्य थे.

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