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गलती एचएम की भुगत रहे अकाउंटेंट
मुजफ्फरपुर : बिहार शिक्षा परियोजना के तहत मुख्यालय व बीआरसी कार्यालयों में कार्यरत अकाउंटेंट को हेडमास्टरों की गलती का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है. राज्य मुख्यालय ने दो महीने से उनका वेतन बंद कर दिया है. इससे दीपावली के साथ ही छठ पर्व पर भी इनकी जेब खाली ही रहेगी. परियोजना से जिले के प्राथमिक, […]
मुजफ्फरपुर : बिहार शिक्षा परियोजना के तहत मुख्यालय व बीआरसी कार्यालयों में कार्यरत अकाउंटेंट को हेडमास्टरों की गलती का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है. राज्य मुख्यालय ने दो महीने से उनका वेतन बंद कर दिया है. इससे दीपावली के साथ ही छठ पर्व पर भी इनकी जेब खाली ही रहेगी.
परियोजना से जिले के प्राथमिक, मध्य व उत्क्रमित विद्यालयों को पोशाक, छात्रवृत्ति व बेंच-डेस्क सहित अन्य योजनाओं के तहत राशि भेजी गयी थी. वित्तीय वर्ष 2014-15 के लिए पोशाक व बेंच-डेस्क के मद में भेजी गयी राशि का समंजन जमा करने के लिए विभाग की ओर से हेडमास्टरों को अगस्त से ही कई पत्र भेजे जा चुके हैं. इसके अलावा पीछे के कई सत्र से भी समंजन जमा नहीं हो रहा है. इसको लेकर राज्य मुख्यालय ने पहले चेतावनी दी, फिर वेतन भुगतान ही रोक दिया.
चुनाव ड्यूटी में थे तो कैसे कराते समंजन
बिहार शिक्षा परियोजना के तहत प्रखंड स्तर पर तैनात अकाउंटेंट चुनाव ड्यूटी के कारण विद्यालयों से सामंजन नहीं ले सके और मुख्यालय ने उनका वेतन ही रोक दिया.
दरअसल, विधानसभा चुनाव के लिए सितंबर में ही सबकी ड्यूटी लगा दी गयी. विभाग ने पहले छह अकाउंटेंट को चुनाव ड्यूटी में भेजने की बात कही, ताकि विभाग का काम भी प्रभावित न हो.
हालांकि सभी 16 प्रखंडों में तैनात अकाउंटेंट की एक ही साथ ड्यूटी लगा दी गयी जिससे वे अपना काम नहीं कर सके. इसी दौरान बार-बार समंजन जमा कराने के लिए मुख्यालय से पत्र आता रहा, लेकिन बीइपी का काम पूरी तरह प्रभावित रहा. एक नवंबर को मतदान तथा आठ नवंबर को मतगणना के बाद वे खाली हुए. जब अपने काम पर वापस लौटे तो सुधि आयी कि उनका वेतन दो महीने से बंद है.
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