ट्रेन उड़ाने की साजिश नाकाम

मीनापुर: धर्मपुर नारायण गांव स्थित मुजफ्फरपुर-सीतामढ़ी रेलखंड पर गुरु वार को बड़ा हादसा होते-होते बचा. बुधवार की देर रात करीब दो बजे प्रतिबंधित संगठन भाकपा माओवादी ने रेलवे ट्रैक को बम से उड़ा दिया. बताया जाता है कि मुजफ्फरपुर से सीतामढ़ी जाने वाली पैसेंजर ट्रेन नक्सलियों के निशाने पर थी. इस दौरान सीतामढ़ी से आने […]

By Prabhat Khabar Print Desk | March 28, 2014 10:40 AM

मीनापुर: धर्मपुर नारायण गांव स्थित मुजफ्फरपुर-सीतामढ़ी रेलखंड पर गुरु वार को बड़ा हादसा होते-होते बचा. बुधवार की देर रात करीब दो बजे प्रतिबंधित संगठन भाकपा माओवादी ने रेलवे ट्रैक को बम से उड़ा दिया. बताया जाता है कि मुजफ्फरपुर से सीतामढ़ी जाने वाली पैसेंजर ट्रेन नक्सलियों के निशाने पर थी.

इस दौरान सीतामढ़ी से आने वाली पैसेंजर ट्रेन घंटों तक रून्नीसैदपुर में ही रु की रही. गुरुवार को माओवादियों ने बंद का आह्वान किया था. एएसपी अभियान राणा ब्रजेश ने बताया कि घटना में शामिल नक्सलियों की शिनाख्त कर ली गयी है. इन लोगों पर नामजद प्राथमिकी हथौड़ी थाने में दर्ज की जायेगी.

इधर घटना के 12 घंटा बाद अपराह्न् लगभग 2.15 बजे मालगाड़ी चला कर परिचालन शुरू किया गया. शाम को सीतामढ़ी से सवारी गाड़ी का परिचालन शुरू किया गया. आरपीएफ व जीआरपी के जवान लगातार ट्रैक की पेट्रोलिंग कर रहे हैं.

इससे पहले माओवादी हमले की आशंका को देखते बुधवार की देर रात मुजफ्फरपुर-समस्तीपुर के रास्ते रक्सौल जाने वाली 14007 डाउन सद्भावना एक्सप्रेस का रूट बदल दिया गया था. इस ट्रेन को मुजफ्फरपुर-मोतिहारी के रास्ते रक्सौल भेजा गया. खुफिया विभाग ने रेलवे को अलर्ट जारी कर बताया था कि बुधवार की देर रात 12 बजे माओवादी बंदी के दौरान सीतामढ़ी रेलखंड पर नक्सली हमला हो सकता है. इस खबर को ‘प्रभात खबर’ ने प्रमुखता से छापा था.

बताया जाता है कि नक्सलियों ने धर्मपुर नारायण रेलवे ट्रैक पर दो शक्तिशाली सिलिंडर बम लगाए थे. ढाई सौ मीटर तक डेटोनेटर तार लगा दिये गये थे. इसका रिमोट गेहूं के खेत में लगाया गया था. विस्फोट इतनी तगड़ी थी कि पूरे इलाका में उजाला फैल गया और दूर तक इसकी गूंज सुनी गई. घटना की खबर मिलते ही अपर थानाध्यक्ष मदन सिंह के नेतृत्व में मीनापुर पुलिस घटनास्थल पर पहुंची. इसके बाद एएसपी अभियान राणा ब्रजेश के नेतृत्व में पुलिस ने मामले की तहकीकात की. बम निरोधी दस्ता ने घटनास्थल पहुंच कर रेलवे ट्रैक पर गहन छानबीन की. इसके बाद आरपीएफ के इंस्पेक्टर श्रीकांत सिंह व जीआरपी के इंस्पेक्टर प्रमोद कुमार ने घटना की जानकारी ली.

बताया जाता है कि बुधवार की रात घटनास्थल के आसपास 30 से 40 नक्सलियों का जमावड़ा लगा था. हमले की आशंका को दखते हुए अर्धसैनिक बल के साथ हथौड़ी पुलिस दिन भर पेट्रोलिंग करती रही. लेकिन घटना के बाद उसका वहां नहीं पहुंचना सवाल खड़े करता है.

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