संदिग्ध अवस्था में हो जाती है मौत, कातिल कौन, पुलिस को नहीं है पता

मधेपुरा : बीते महीनों में कई ऐसे मामले सामने आये हैं, जिसमें कई लोगों की संदिग्ध अवस्था में मौत हो गयी. गुनहगारों को पकड़ना तो दूर की बात पुलिस प्रशासन घटना होने के बाद पर्याप्त साक्ष्य भी नहीं सामने ला पाती है. जाहिर है पुलिस प्रशासन का यह रवैया कानून के काम करने की तरीके […]

By Prabhat Khabar Print Desk | August 24, 2019 7:37 AM

मधेपुरा : बीते महीनों में कई ऐसे मामले सामने आये हैं, जिसमें कई लोगों की संदिग्ध अवस्था में मौत हो गयी. गुनहगारों को पकड़ना तो दूर की बात पुलिस प्रशासन घटना होने के बाद पर्याप्त साक्ष्य भी नहीं सामने ला पाती है. जाहिर है पुलिस प्रशासन का यह रवैया कानून के काम करने की तरीके और अनुसंधान पर सवाल खड़ी करती है. पुलिस की लापरवाही के कारण न जाने कितने मामले फाइलों में बंद हो गये है. पीड़ित परिवार इंसाफ मांगने के लिए विभाग के वरीय अधिकारियों तक गुहार लगाते रहते है. हाल के दिनों में घटित कई ऐसी घटना भी है जो पुलिसिया तंत्र के उदासीनता की कहानी बयां कर रही है.

केस
बीते बुधवार को उदाकिशुनगंज थाना क्षेत्र के गोपालपुर पंचायत के दुर्गा बासा गांव के निकट 11 अगस्त को अपहृत आशीष कुमार की सिरकटी शव भवानंदपुरा नहर के पश्चिम जमुनिया बहियार मिला. मालूम हो इसको लेकर अपहृत युवक के मामा ने सिंहेश्वर थाना क्षेत्र के गौरीपुर वार्ड एक के बैजनाथ महतो ने मधेपुरा सदर थाने में शिकायत 12 अगस्त को ही दर्ज करवायी थी. जिसके बाद घटना के तीन दिन बाद ही खगड़िया के चौथम थाना क्षेत्र से लावारिस अवस्था में युवक की बाइक बरामद हुई थी.
बावजूद इसके पुलिस अपहृत आशीष को नहीं खोज पाई. पुलिस आशीष को ढूंढने में नाकाम साबित हुई. 11 अगस्त को अपहृत लड़के का शव 20 अगस्त को नदी में फेंका हुआ मिलता है. उसे भी आम लोगों ने खोज निकाला. इस बीच के 9 दिन में गायब रहे आशीष के मामलों को लेकर अगर पुलिस तत्परता दिखाती तो शायद यह अनहोनी टल सकती थी.
केस
बीते 17 अगस्त 2019 को बिहारीगंज के गमैल पंचायत के वार्ड दो में सुमित कुमार सिंह की संदिग्ध अवस्था में मौत हो गयी. जानकारी के अनुसार उसका शव उसके घर के चापाकल के पास बरामद हुआ. पुलिस को दिये गये आवेदन के अनुसार सुमित तीन-चार दिन से घर से बाहर नहीं निकल रहा था.
17 अगस्त के रोज आसपास के लोगों ने महसूस किया कि सुमित के घर से डेड बॉडी के महकने की गंध आ रही है. बाद में जब उसके घर अंदर से लगे हुए उसके घर के गेट को तोड़कर जब लोग अंदर गये तो सुमित का शव उसके चापाकल के पास मिला. खोजबीन जारी है लेकिन अभी तक पुलिस इस मामले की असली वजह का पता नहीं लगा सकी है.
केस
पांच जुलाई 2019 को कुमारखंड प्रखंड के श्रीनगर थाना अंतर्गत बृजेश कुमार की कुछ लोगों ने मिलकर गोली मारकर हत्या कर दी थी. पुलिस रिपोर्ट के मुताबिक बृजेश कुमार कुमारखंड वार्ड आठ का रहने वाला था. पांच जुलाई की रात वह अपने ससुराल से लौट रहा था. इसी दौरान कुछ लोगों ने उसे घेरकर उसकी हत्या कर दी. जिसमें अभी तक कातिलों का कुछ पता नहीं चल पाया है.
पोस्टमार्टम की रिपोर्ट में यह बात सामने आयी की हत्या गोली मारकर की गयी. पुलिस की छानबीन में भी गोली मारने की बात सामने आयी थी. भरगामा थाना क्षेत्र में उसे गोली मारा गया था और शव को लाकर श्रीनगर थाना क्षेत्र के भगवती पुर पंचायत मे फेंक दिया था. घटना को अंजाम देने वाले आपराधिक तत्वों का अभी तक कुछ पता नहीं चल पाया है.

Next Article

Exit mobile version