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जातिगत जनगणना का काम अधूरा

पंचायतों में आरक्षण का मामला फंसा, निर्वाचन आयोग ने दोबारा मांगा ब्योरा दरभंगा : पंचायत चुनाव में पंचायतों के आरक्षण का मामला फं सता नजर आ रहा है. विभागीय निर्देशों के ऊहापोह में अबतक जिले के 324 पंचायतों में अनुसूचित जाति, अतिपिछड़ा एवं पिछड़ी जाति की जनसंख्या स्पष्ट नहीं हो सकी है. जातिगत जनगणना के […]

पंचायतों में आरक्षण का मामला फंसा, निर्वाचन आयोग ने दोबारा मांगा ब्योरा
दरभंगा : पंचायत चुनाव में पंचायतों के आरक्षण का मामला फं सता नजर आ रहा है. विभागीय निर्देशों के ऊहापोह में अबतक जिले के 324 पंचायतों में अनुसूचित जाति, अतिपिछड़ा एवं पिछड़ी जाति की जनसंख्या स्पष्ट नहीं हो सकी है. जातिगत जनगणना के आंकड़े अभी पूर्ण नहीं हो सके हैं. सो त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में पंचायतों के आरक्षण को लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं है.
मालूम हो कि 2016 में पंचायती राज व्यवस्था के तहत त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव होना तय है. पंचायत राज अधिनियम में यह प्रावधान किया गया है कि दो पंचायत चुनाव के बाद अनुसूचित जाति, अत्यंत पिछड़ा वर्ग एवं पिछड़ा वर्ग के साथ साथ महिलाओं के लिए आरक्षित सीटों में बदलाव किया जाय. 2006 के पंचायत चुनाव में अधिनियम के नियमानुसार 50 प्रतिशत सीटों पर आरक्षण का प्रावधान कर चुनाव संपन्न कराये गये.
इसी तर्ज पर 2011 में भी पंचायत चुनाव इसी तर्ज पर करा लिये गये. अब पंचायत चुनाव 2016 में होना है. लेकिन इसमें एक बड़ा पेंच फंस गया है. इस पेंच में अधिनियम के अनुसार नियमावली में संशोधन नहीं किया गया है. नियमावली में संशोधन के लिए आयोग ने सरकार के पास संचिका भेजी है. अब सरकार नियमावली में संशोधन और इस पर कै बिनेट में निर्णय नहीं लेती है, तबतक मामला फंसा रहेगा.
राज्य निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार पंचायतों से रेवेन्यू विलेज वार अनुसूचित जाति, अति पिछड़ा और पिछड़ा वर्ग की संख्या देने का निर्देश बीडीओ को दिया है.
शत्रुघ्न कामति, जिला पंचायती राज पदाधिकारी दरभंगा.
324 पंचायतों में बदलेगी आरक्षण व्यवस्था
..अगर सरकार ने नियमावली में संशोधन कर कैबिनेट की सहमति ले लेती है तो जिले के 324 पंचायतों के आरक्षण व्यवस्था बदल जायेगी. इसके साथ ही पंचायतों के वार्ड और पंच के 4479 पदों का आरक्षण रोस्टर बदलेगा. जिला परिषद के 47 सीटों के साथ साथ 48 नगर निगम क्षेत्र के पार्षदों का आरक्षण रोस्टर भी प्रभावित होगा.
आयोग ने मांगा रेवेन्यू वार आंकड़ा
राज्य निर्वाचन आयोग ने पत्र भेजकर पंचायतों की कुल जनसंख्या, थाना का नंबर, गांव का नाम और अनुसूचित जाति, अति पिछड़ा, पिछड़ी जाति की संख्या अलग अलग अंकित ब्योरा भेजने का निर्देश दिया है.
जिला पंचायती राज कार्यालय सूत्रों के मुताबिक पूर्व में राज्य निर्वाचन आयोग ने पंचायत की कु ल आबादी और अनुसूचित जाति का ही ब्योरा मांगा था. लेकिन इसमें पुन: संशोधित कर पंचायत की जनसंख्या, गांव का नाम, थाना संख्या के साथ साथ अनुसूचित जाति, अति पिछड़ा व पिछड़ा वर्ग की आबादी वर्ग वार ब्योरा मांगा है.
दो बार टल चुका है पदाधिकारियों का प्रशिक्षण
पंचायतों में आरक्षण बदलने को लेकर जिला पंचायती राज पदाधिकारी के प्रशिक्षण की तिथि दो दो बार टाली गयी है. नये आरक्षण को लेकर 12-14 मई को निर्धारित प्रशिक्षण टला.
पुन: घोषित तिथि 19-21 मई भी टाल दी गयी. इसकी वजह सरकार द्वारा नियमावली में संशोधन एवं इस पर कै बिनेट का निर्णय नहीं लिया जाना बताया गया. ज्ञात हो कि राज्य निर्वाचन आयोग ने सभी जिलों में 11 मई को ही वार्ड वार मतदाता सूची के अंतिम प्रकाशन का निर्देश दिया था. इसके बाद ही त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में आरक्षण रोस्टर बदलेगा.

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