बिहार में मंगलवार को विभिन्न विभागों के कई अधिकारियों पर कार्रवाई की गयी. एक ओर जहां गोपालगंज और गया में मद्य निषेध उत्पाद एवं निबंधन विभाग ने अनुशासनहीनता और लापरवाही के आरोप में एक दारोगा, एक महिला सिपाही समेत चार लोगों को सस्पेंड कर दिया. वहीं दूसरी तरफ राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने भोजपुर और मुजफ्फरपुर जिले के दो अंचलाधिकारी पर कार्रवाई की है.
गया और गोपालगंज में दारोगा व महिला सिपाही समेत चार बर्खास्त
दरअसल मद्य निषेध उत्पाद एवं निबंधन विभाग ने कार्य में लापरवाही और अनुशासनहीनता के आरोप में एक दरोगा व तीन सिपाही समेत चार कर्मियों को बर्खास्त कर दिया है. इनमें एक महिला सिपाही भी हैं. इनमें तीन कर्मियों पर डोभी के शेरघाटी थाना कांड मामले में जबकि एक महिला कर्मी पर गोपालगंज में उनकी तैनाती के दौरान कार्य के प्रति लापरवाही के आरोप में कार्रवाई हुई है.
इओयू ने महिला सिपाही को किया था गिरफ्तार
महिला सिपाही जूही कुमारी के खिलाफ चली विभागीय कार्यवाही में पाया गया कि आरोपी महिला सिपाही कर्मी अपने कर्तव्य के प्रति लापरवाह, स्वेच्छाचारी एवं अनुशासनहीन हैं. इनका आचरण बिहार सरकारी सेवक आचार नियमावली तीन के विपरीत है. दरोगा मुकेश शर्मा तथा सिपाही अवनीश कुमार एवं रंजीत कुमार को फरवरी 2021 में गांजा लदे एक पिकअप वैन को जब्त कर गिरफ्तार अभियुक्त को छोड़ने के मामले में चली विभागीय कार्यवाही के बाद बर्खास्त किया गया. इओयू ने इनको गिरफ्तार किया था.
दो सीओ पर कार्रवाई , सेवा वापस
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने मुजफ्फरपुर जिले मोतीपुर के अंचलाधिकारी अरविंद कुमार अजीत और भोजपुर जिले के बिहिया के अंचलाधिकारी सुशील कुमार उपाध्याय के खिलाफ कार्रवाई की है. विभाग ने दोनों सीओ की सेवा को उनके पैतृक विभाग को वापस कर दिया है. निगरानी ब्यूरो के एसपी ने 13 मार्च को भूमि सुधार व राजस्व विभाग को पत्र भेजकर जानकारी दी थी कि मोतीपुर के सीओ अरविंद कुमार अजीत को धावा दल ने गिरफ्तार किया है. अब जाकर विभाग ने इनकी सेवा को सहकारिता विभाग में वापस कर दिया है. वहीं दूसरे अंचलाधिकारी भोजपुर जिले के बिहियां के सुशील कुमार उपाध्याय की भी सेवा ग्रामीण विकास विभाग को वापस कर दी गयी है.