भागलपुर : बच्चों के इलाज में प्रयुक्त होनेवाली लेवोफ्लाक्सासिन व ओफ्लाक्सासिन से बनी दवाओं की बिक्री व इस्तेमाल पर स्वास्थ्य विभाग ने गुरुवार से रोक लगा दी है. हालांकि चिकित्सकाें ने दावा किया है कि इन दवाओं का विकल्प अस्पताल में मौजूद है. गुरुवार को सूबे के राज्य औषधि नियंत्रक रवींद्र कुमार सिन्हा ने सूबे के सभी ड्रग इंस्पेक्टरों को निर्देश जारी करते हुए कहा कि लेवोफ्लाक्सासिन व ओफ्लाक्सासिन से बनी दवाएं जो बच्चों के लिए बनी हैं.
ऐसी दवाओं के खरीद-बिक्री, स्टॉक व व्यवहार एवं वितरण पर तत्काल रोक लगायी जाये. अगर इस प्रतिबंध का कोई दोषी पाया जाता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाये. लेवोफ्लाक्सासिन से बनी दवा का इस्तेमाल बैक्टीरियल इंफेक्शन व टीबी के इलाज में, जबकि आेफ्लाक्सासिन से बनी दवाओं का इस्तेमाल मूत्र नली, टांसिल, साइनस, नाक, गला व फीमेल जेनाइटल आर्गन्स, त्वचा एवं नर्म उतक के इंफेक्शन व निमोनिया में किया जाता है.