भाकपा माले के नेतृत्व में शहर के लोगों ने निकाला आक्रोश मार्च

मृतक अजित महतो की नृशंस हत्या के खिलाफ भाकपा (माले) के नेतृत्व में शहर के लोगों ने आक्रोश मार्च निकाला. जुलूस जेल गेट के निकट से नारेबाजी करते हुए निकला.

By AMLESH PRASAD | April 21, 2025 10:22 PM

बेगूसराय. मृतक अजित महतो की नृशंस हत्या के खिलाफ भाकपा (माले) के नेतृत्व में शहर के लोगों ने आक्रोश मार्च निकाला. जुलूस जेल गेट के निकट से नारेबाजी करते हुए निकला. जो एनएच-31, रेलवे ओवरब्रिज, बलिदानी दुर्गा मंदिर, लोहिया नगर गुमटी, ट्रैफिक चौक, पुराना पोस्ट ऑफिस, श्रीकृष्ण स्मारक, आंबेडकर चौक होते हुए कचहरी चौक होकर कैंटीन चौक पर पहुंची. जहां सभा का भी आयोजन किया गया. मार्च में सैकड़ों की संख्या में आमजन शामिल थे, लोग आरोपी डाॅक्टर की गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे. साथ ही अजीत महतो की विधवा को 25 लाख मुआवजा देने, बच्चों की मुफ्त शिक्षा का प्रबंध करने, जिले में अपराध की रोकथाम को लेकर ठोस कदम उठाने की मांग भी कर रहे थे. मार्च का नेतृत्व भाकपा (माले) नगर सचिव कॉ राजेश श्रीवास्तव कर रहे थे. मौके पर भाकपा माले जिला सचिव दिवाकर प्रसाद और चंद्रदेव वर्मा ने कहा कि अजीत महतो की हत्या किसी आपराधिक घटना भर नहीं, बल्कि जिला को अपराधियों के हवाले कर देने का परिणाम है. आरोपी डाॅक्टर जैसे रसूखदार व्यक्ति का नाम सामने आने के बावजूद अब तक गिरफ्तारी न होना साफ संकेत देता है कि सरकार अपराधियों को संरक्षण दे रही है. पुलिस प्रशासन पूरी तरह पक्षपातपूर्ण रवैया अपना रहा है. उन्होंने आगे कहा कि यह घटना बेगूसराय में बढ़ते अपराध और शासन की नाकामी का प्रतीक है. आरा में दिनदहाड़े जनसंहार ट्रिपल मर्डर की घटना और अब बेगूसराय में अजित महतो की हत्या, यह साबित करती है कि बिहार में कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री की जोड़ी सिर्फ कुर्सी बचाने में व्यस्त है. जबकि जनता डर और खौफ के साये में जीने को मजबूर है. भाकपा (माले) ने मांग की कि अजित महतो की विधवा को 25 लाख रुपये मुआवजा, बच्चों को मुफ्त शिक्षा, और आरोपी डाॅक्टर की अविलंब गिरफ्तारी सुनिश्चित की जाये. साथ ही बेगूसराय को अपराधमुक्त करने के लिए विशेष अभियान चलाया जाये. यदि सरकार चुप रही, तो आंदोलन को और तेज किया जायेगा. मौके पर सुरेश पासवान, गजाधर पासवान, सिरण महतो, छोटू कुमार, गजेंद्र पंडित, संजय ठाकुर, आरती देवी, सुनीता देवी, मखमल देवी सहित बड़ी तादाद में महिला-पुरुष आक्रोश मार्च में शामिल थे.

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