अग्निकांड की घटना को लेकर जिला प्रशासन ने किया लोगों को सतर्क
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निर्धारित मापदंडों का करें पालन
अग्निकांड की घटना को लेकर जिला प्रशासन ने किया लोगों को सतर्क िजले में अग्नि देवता का प्रकोप लगातार जारी है. नतीजा है कि लोगों का आशियाना जहां जल कर राख हो रहा है वहीं हजारों एकड़ में लगी फसल भी अग्नि की भेंट चढ़ी है.जिला प्रशासन भी लगातार अग्निकांड की घटना को लेकर चिंतित […]
िजले में अग्नि देवता का प्रकोप लगातार जारी है. नतीजा है कि लोगों का आशियाना जहां जल कर राख हो रहा है वहीं हजारों एकड़ में लगी फसल भी अग्नि की भेंट चढ़ी है.जिला प्रशासन भी लगातार अग्निकांड की घटना को लेकर चिंतित है. जिले के विभिन्न क्षेत्रों में हो रहे अग्निकांड की घटना को लेकर जिला प्रशासन पूरी तरह से सतर्क हो गयी है. जिलाधिकारी ने अग्निकांडों से बचने के लिए निर्धारित मापदंडों का पालन करने के लिए आम जनता से आह्वान किया है.
बेगूसराय(नगर) : जिला पदाधिकारी मो नौशाद युसूफ ने आम जनता से निर्धारित मापदंडों का पालन करने का आह्वान किया है. जिलावासियों के नाम एक संदेश में उन्होंने कहा कि अग्निकांड की रोकथाम के लिए दिये गये निर्देशों का अनुपालन नहीं करने वालों के विरुद्ध आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत सख्त कार्रवाई की जायेगी. जिलाधिकारी ने साफ शब्दों में कहा कि इन निर्देशों का उल्लंघन करने पर एवं अग्निकांड की घटना घटित होने पर आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51 बी के तहत कार्रवाई की जायेगी.
निर्देशों का पालन नहीं होने पर क्या होगी कार्रवाई :
दोषी व्यक्ति को एक वर्ष तक कारावास या जुर्माना अथवा दोनों सजा दंडनीय है
यदि ऐसी बाधा या निर्देशों का पालन करने से इंकार करने के परिणाम स्वरूप जान की हानि होती है या उनके लिए आसन्न खतरा होता है तो दोष सिद्ध होने पर कारावास की अवधि दो वर्ष तक की हो सकेगी.
आवश्यक निर्देश:
सुबह 9 बजे के पहले खाना बना लिया जाये
पूजा-पाठ के लिए किये जाने वाले हवन अनुष्ठान को सुबह 9 बजे के पहले संपन्न करा लिया जाये
खेतों में गेहूं काटने पर बचे डंठल को नहीं जलाया जाये
अग्निकांड की घटना में क्या न करें
बच्चों को माचिस या आग फैलाने वाले या अन्य सामान के पास न जाने दें
बीड़ी, सिगरेट, हुक्का आदि पीकर जहां-तहां न फेंके
चूल्हा, ढिबरी, मोमबत्ती, कपूर जलाकर न छोंड़े.
सार्वजनिक स्थलों, ट्रेनों एवं बसों आदि में ज्वलनशील पदार्थ न ले जायें
आपके कपड़े में अगर आग लग जाये तो दौड़ना नहीं चाहिए बल्कि जमीन पर लेट कर आग बुझाएं
खाना बनाने के समय ढीले-ढाले कपड़े न पहनें
खाना बनाते समय रसोईघर में बच्चों को अकेला न छोड़ें
अग्निकांड से बचाव के लिए क्या करें-:
स्टोव या लकड़ी, गोइठा आदि के जलावन वाले चूल्हे पर खाना बनाते समय सावधानी बरतें. हमेशा सूती वस्त्र पहन कर ही खाना बनायें
गेहूं ओसौनी का काम हमेशा रात में तथा गांव के बाहर खलिहान में जाकर करें
घर-खलिहान पर पानी व बालू की समुचित व्यवस्था रखें
खाना पकाते समय रसोई घर में वयस्क मौजूद रहें, बच्चों को अकेला न छोड़ें
खिड़की से स्टोव के बर्नर तक हवा न पहुंचे इस बात की पूरी तसल्ली रखें
सरकारी सहायता पाने के उद्देश्य से जान-बूझकर अपनी संपत्ति में आग लगाने वालों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई करने में प्रशासन की मदद कर जागरूक नागरिक बनें.
तौलिया या कपड़े का इस्तेमाल सावधानी से गरम बरतन उतारने के लिए करें
तैलीय पदार्थ से लगी आग पर पानी न डालें या सिर्फ बेकिंग,सोडा,नमक डालें या उसे ढक दें
गैस चूल्हे का इस्तेमाल करने के तुरंत बाद सिलिंडर का नॉव बंद कर दें
घर में दमकल कार्यालय तथा अन्य आपातकालीन नंबर लिखा हुआ हो और घर के सभी सदस्यों को इन नंबरों के बारे में पता हो
आग लगने पर दमकल विभाग को फोन करें और उन्हें अपना पूरा पता बतायें
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