जागरूकता ही एड‍्स से बचाव का उपाय

यादव कॉलेज में ‘एड्स के कारण’ पर परिचर्चा आयोजित कर्मियों ने किया रक्तदान औरंगाबाद शहर : शहर के रामलखन सिंह यादव कॉलेज में मंगलवार को एनएसएस द्वारा ‘एड्स के कारण और बचाव’ पर परिचर्चा व रक्तदान शिविर का आयोजन किया. कार्यक्रम का उद्घाटन मुख्य अतिथि डा. आशित रंजन, गणित विभाग के प्रो. अमर प्रसाद सिंह, […]

By Prabhat Khabar Print Desk | May 16, 2018 5:08 AM

यादव कॉलेज में ‘एड्स के कारण’ पर परिचर्चा आयोजित

कर्मियों ने किया रक्तदान
औरंगाबाद शहर : शहर के रामलखन सिंह यादव कॉलेज में मंगलवार को एनएसएस द्वारा ‘एड्स के कारण और बचाव’ पर परिचर्चा व रक्तदान शिविर का आयोजन किया. कार्यक्रम का उद्घाटन मुख्य अतिथि डा. आशित रंजन, गणित विभाग के प्रो. अमर प्रसाद सिंह, एनएसएस कार्यक्रम पदाधिकारी डाॅ बच्चु लाल सिंह ने किया. इसके बाद परिचर्चा को संबोधित करते हुए डाॅ आशित रंजन ने कहा कि एड‍्स की दवा नहीं बनी है. जागरूकता ही एड्स का बचाव है. कार्यक्रम के आयोजक डा. बच्चू लाल सिंह ने कहा कि एड्स कई कारणों से होता है. असुरक्षित यौन संबंध, किसी दूसरे का प्रयोग किया गया ब्लेड आदि के प्रयोग करने से एड‍्स होता है. वैसे एड्स रोग मुख्यत: एचआईवी के संक्रमण से होता है. लोगों को एड्स के प्रति जागरूक होने की जरूरत है.
उन्होंने कहा कि रक्तदान बहुत ही महान कार्य है. इसके छोटा सा प्रयास कर किसी व्यक्ति की जान बचाई जा सकती है. बोटनी विभाग के प्रो. हेमंत कुमार सिंह, कॉलेज कर्मी जितेंद्र कुमार, दर्शनशास्त्र की प्रो. विद्यावती देवी ने कहा कि औरंगाबाद शहर एनएच दो के किनारे स्थित है. अक्सर इस सड़क पर दुर्घटनाएं होते रहती है. कभी-कभी तो खून के अभाव में घायल की मौत हो जाती है. इसका सबसे बड़ा कारण रक्तदान के प्रति आम लोगों में जागरूकता का अभाव है. हमें रक्तदान के प्रति जागरूकता अभियान चलाने की आवश्यकता है.
शिविर में 10 लोगों ने किया रक्तदान : रक्तदान शिविर में कॉलेज के 10 लोगों ने रक्तादान किया. रक्तदान करने वालों में जितेंद्र कुमार, लक्ष्मी भूषण, जितेंद्र गिरी उर्फ डब्लू, अमित कुमार, शशिकांत, छात्रसंघ के सचिव राहुज राज, कॉलेज का छात्र आशुतोष कुमार, ललित कुमार, छात्रा स्नेहा कुमारी, प्रतिक्षा कुमार शामिल है.
ये थे उपस्थित : कार्यक्रम में रामप्रवेश सिंह, डाॅ अल्लाउद्दीन, रामचंद्र सिंह, रामकुमार प्रसाद वर्मा, मिथिलेश महतो आदि उपस्थित थे

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