सड़क पार कर रहे पिता-पुत्र आये चार चक्का वाहन की चपेट में, पिता की मौत, पुत्र की हालत गंभीर

जुमे की नमाज पढ़ने जा रहे थे पिता-पुत्र आक्रोशितों ने एनएच जाम कर किया प्रदर्शन, नगर थानाध्यक्ष के समझाने पर जाम हटा अररिया : एनएच 57 के अररिया-पूर्णिया एनएच 57 के लहटोरा गांव के समीप सड़क पार करने के क्रम में पिता-पुत्र अज्ञात चार चक्का वाहन की चपेट में आ गये. दुर्घटना के बाद घटनास्थल […]

By Prabhat Khabar Print Desk | March 17, 2018 5:50 AM

जुमे की नमाज पढ़ने जा रहे थे पिता-पुत्र

आक्रोशितों ने एनएच जाम कर किया प्रदर्शन, नगर थानाध्यक्ष के समझाने पर जाम हटा
अररिया : एनएच 57 के अररिया-पूर्णिया एनएच 57 के लहटोरा गांव के समीप सड़क पार करने के क्रम में पिता-पुत्र अज्ञात चार चक्का वाहन की चपेट में आ गये. दुर्घटना के बाद घटनास्थल पर ही पिता 60 वर्षीय मो तैयब, पिता स्वर्गीय रसूल की मौत हो गयी. वहीं गंभीर रूप से जख्मी पुत्र 10 वर्षीय अमीर को स्थानीय लोगों द्वारा सदर अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. सदर अस्पताल में चिकित्सकों द्वारा प्राथमिक उपचार के बाद घायल अमीर को बेहतर उपचार के लिए पूर्णिया रेफर कर दिया गया.
इधर दुर्घटना की खबर सुनते ही आसपास के ग्रामीण वहां जमा हो गये. आक्रोशित ग्रामीणों द्वारा शव को सड़क पर रखकर उग्र प्रदर्शन किया जाने लगा. देखते ही एनएच पर वाहनों की लंबी कतार लग गयी. जाम की सूचना पाकर नगर थानाध्यक्ष दीपांकर श्रीज्ञान दुर्घटना स्थल पर पहुंचे. उनके द्वारा समझाये जाने पर ग्रामीणों का आक्रोश शांत हुआ व आधा घंटा बाद सड़क जाम हटा. इसके बाद आवाजाही चालू हो पाया. नगर थाना पुलिस ने मृतक के शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया. इधर, दुर्घटना के संबंध में मिली जानकारी के अनुसार मो तैयब अपने पुत्र अमीर के साथ लहटोरा स्थित एक मस्जिद में जुमे की नमाज पढ़ने जा रहे थे.
इसी क्रम में सड़क पार करने के क्रम में पूर्णिया की तरफ से आ रहे एक लाल रंग के चार चक्का वाहन की चपेट में दोनों पिता-पुत्र आ गये. चार चक्का वाहन दोनों को ठोकर मारते हुए अररिया की ओर भाग गया. हालांकि नगर थाना पुलिस द्वारा वाहन की शिनाख्त करने के लिए गोढ़ी चौक स्थित टोल प्लाजा पर भी पुलिस बल की प्रतिनियुक्ति कर दी गयी, लेकिन वाहन टोल प्लाजा नहीं पहुंच कर दूसरे तरफ से फरार हो गया. इधर गंभीर रूप से जख्मी अमीर की स्थिति भी चिंताजनक बतायी जा रही है. हालांकि दुर्घटना के बाद से ही परिजनों की हालत खराब है. परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है.

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