पटना: सरकार में भाजपा कोटे के आठ पूर्व मंत्रियों के आवास खाली कराने के लिए भवन निर्माण विभाग ‘निष्कासन आदेश’ जारी करने जा रहा है. इसके लिए भवन निर्माण विभाग के भू-संपदा पदाधिकारी विनोद चौधरी ने सक्षम पदाधिकारी शालिग्राम प्रसाद को पत्र लिखा है.
निष्कासन आदेश पारित होने के सात दिनों के अंदर यदि पूर्व मंत्रियों ने आवास खाली नहीं किया, तो उसे जबरन खाली कराया जायेगा. भवन निर्माण विभाग विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता नंद किशोर यादव को अब्दुल बारी सिद्दीकी का वर्तमान आवास आवंटित करने जा रहा है. सिद्दीकी का आवास प्रतिपक्ष के नेता के नाम पर आवंटित है. अब उन्हें दूसरा आवास आवंटित किया जायेगा. विधान परिषद में प्रतिपक्ष के नेता सुशील मोदी को भी जल्द ही दूसरा आवास आवंटित किया जायेगा.
20 अगस्त को जारी किया था नोटिस : भवन निर्माण विभाग ने बिहार सरकारी परिसर किराया वसूली एवं बेदखली अधिनियम, 1956 और बिहार अधिनियम संख्या-20, 1956 संशोधन विधेयक के अधीन निष्कासन आदेश पारित करने का आवेदन सक्षम पदाधिकारी को दिया है. इसमें कहा गया है कि आठों पूर्व मंत्रियों ने अनधिकृत रूप से आवासों पर कब्जा कर रखा है.
इसके पहले आठों पूर्व मंत्रियों को 20 अगस्त को आवास खाली करने का नोटिस विभाग दे चुका है. इस बीच पूर्व मंत्री गिरिराज सिंह और डॉ सुखदा पांडेय ने विभाग से वर्तमान आवास में ही रहने देने का अनुरोध किया है. दोनों पूर्व मंत्रियों ने कहा कि वैकल्पिक व्यवस्था होने तक उनका आवास खाली न कराया जाये. भाजपा कोटे के पूर्व मंत्री रामाधार सिंह आवास खाली कराने के भवन निर्माण विभाग के फैसले के खिलाफ कोर्ट में जाने की तैयारी कर रहे हैं, जबकि अश्विनी चौबे वैकल्पिक आवास मुहैया कराने की मांग कर रहे हैं.