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वेंडर का बेटा साइंस में स्टेट टॉपर

पटना: इंटरमीडिएट साइंस और कॉमर्स के रिजल्ट मंगलवार को जारी कर दिये गये. ग्रामीण इलाकों के छात्र-छात्राओं ने इस बार भी बेहतर प्रदर्शन किया है. साइंस में दानापुर डीएवी स्कूल का छात्र रवीश कुमार और कॉमर्स में गया कॉलेज, गया का छात्र अविनाश कुमार स्टेट टॉपर है. रविश के पिता दानापुर में एक गैस एजेंसी […]

पटना: इंटरमीडिएट साइंस और कॉमर्स के रिजल्ट मंगलवार को जारी कर दिये गये. ग्रामीण इलाकों के छात्र-छात्राओं ने इस बार भी बेहतर प्रदर्शन किया है. साइंस में दानापुर डीएवी स्कूल का छात्र रवीश कुमार और कॉमर्स में गया कॉलेज, गया का छात्र अविनाश कुमार स्टेट टॉपर है. रविश के पिता दानापुर में एक गैस एजेंसी में वेंडर का काम करते हैं, जबकि अविनाश के पिता जेनरेटर ऑपरेटर हैं.

साइंस में समस्तीपुर और कॉमर्स में गया जिला अन्य जिलों पर भारी पड़ा. हालांकि, इस बार के रिजल्ट पिछले वर्षो की तुलना में अच्छे नहीं रहे. साइंस में सिर्फ 66.1 फीसदी और कॉमर्स में 81.64 फीसदी परीक्षार्थी ही सफल हो पाये हैं, जबकि पिछले साल इंटर साइंस में 91.87 फीसदी और वाणिज्य में 94.43 फीसदी परीक्षार्थी सफल हुए थे. इस तरह इस साल साइंस में 25.86 फीसदी व कॉमर्स में 11.79 फीसदी कम छात्र सफल हुए हैं. साइंस और कॉमर्स के ओवरऑल रिजल्ट में जहां लड़कों की तुलना में लड़कियों ने बाजी मारी है, वहीं टॉप टेन में आनेवाले 30 परीक्षार्थियों में सिर्फ छह लड़कियां ही जगह बना पायीं. बिहार विद्यालय परीक्षा समिति सभागार में शिक्षा मंत्री पीके शाही ने दोनों संकायों के रिजल्ट जारी किये. कॉमर्स में गया कॉलेज के चार छात्रों ने टॉप थ्री में और कुल सात छात्र-छात्राओं ने टॉप टेन में आकर कॉलेज का नाम रोशन किया. इतना ही नहीं, गया के ही दो अन्य कॉलेजों के एक छात्र व एक छात्र ने टॉप टेन में जगह बनायी. इंटर कॉमर्स में गया कॉलेज, गया के अमित कुमार को दूसरा और शिवम शर्मा व शुभम गौड़ को संयुक्त रूप से तीसरा स्थान मिला है. साइंस में बीआरएस महिला कॉलेज, पूसा (समस्तीपुर) की अपराजिता को दूसरा और आरएसबी प्लस टू स्कूल, समस्तीपुर के भोला सहनी व रवीश कुमार ने संयुक्त रूप से तीसरा स्थान मिला है. साइंस में समस्तीपुर के कॉलेजों के छह छात्र-छात्रएं टॉप टेन में आयी हैं. इनमें से आरएसबी प्लट टू स्कूल, समस्तीपुर के तीन छात्रों ने तीसरा व चौथा स्थान लाया है.

रिजल्ट जारी करते समय शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव अमरजीत सिन्हा, माध्यमिक शिक्षा निदेशक रामबुझावन चौधरी, बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के अध्यक्ष राजमणि प्रसाद सिन्हा, परीक्षा समिति के सचिव आशुतोष कुमार, संयुक्त सचिव हरिहर नाथ झा समेत बोर्ड के अधिकारी मौजूद थे.

साइंस-कॉमर्स दोनों में छात्रओं ने मारी बाजी

ओवरऑल रिजल्ट में लड़कियों ने एक बार फिर लड़कों को पछाड़ दिया है, लेकिन टॉप टेन में वे पिछड़ गयी हैं. साइंस-कॉमर्स में टॉप टेन में आनेवाले 30 परीक्षार्थियों में मात्र छह लड़कियां ही जगह बना पायीं. साइंस में टॉप टेन में 17 परीक्षार्थी आये. इनमें से 14 छात्र व तीन छात्रएं हैं. वहीं, कॉमर्स में टॉप टेन में 13 परीक्षार्थियों में नौ छात्र व तीन छात्रएं शामिल हैं. साइंस में 64.48 फीसदी छात्र सफल हुए, जबकि, 70.42 फीसदी छात्रएं उत्तीर्ण हुई हैं. वहीं, कॉमर्स में 80.8 फीसदी छात्र और 88 फीसदी छात्राओं ने सफलता पायी है. इंटरमीडिएट साइंस में 2014 की परीक्षा में कुल 4,63,305 परीक्षार्थी शामिल हुए थे. इसमें 3,43,562 छात्र व 1,19,743 छात्राएं शामिल हुई थी. परीक्षा में 3,05,864 (66.01 फीसदी) परीक्षार्थियों से सफलता पायी है. इनमें 2,21,530 (64.48 फीसदी) छात्र और 84,334 (70.42 फीसदी) छात्राएं पास की हैं. वहीं, कॉमर्स में कुल 76,743 परीक्षार्थी शामिल हुए थे. इसमें 57,114 छात्र और 19,620 छात्रएं शामिल थी. कॉमर्स की परीक्षा में कुल 63,416 (82.64 फीसदी) परीक्षार्थियों ने सफलता पायी. इसमें से 46,149 (80.8 फीसदी) छात्र और 17,267 (88 फीसदी) छात्रएं सफल रहीं.

20 फीसदी परीक्षार्थी भी नहीं हो सके फस्र्ट

इस साल साइंस में 20 फीसदी परीक्षार्थी भी फस्र्ट डिविजन नहीं ला सके. इस साल परीक्षार्थियों की संख्या बढ़ी, इसके बावजूद पिछले साल जहां 3,62,049 परीक्षार्थियों में से 51.22 फीसदी परीक्षार्थी प्रथम श्रेणी से पास हुए थे. वहीं, इस बार 4,63,305 परीक्षार्थियों में से सिर्फ 18.71 फीसदी (86,702) परीक्षार्थियों ने ही फस्र्ट डिविजन लाया है. यही स्थिति कॉमर्स की भी है. 2013 में 72,510 परीक्षार्थी परीक्षा में शामिल हुए थे. इसमें से 33.01 फीसदी परीक्षार्थी फस्र्ट किये थे, वहीं इस बार में 76,743 परीक्षार्थियों में सिर्फ 11.92 फीसदी (9,147) परीक्षार्थी प्रथम श्रेणी से पास हुए हैं. इस साल विज्ञान में 86,702 परीक्षार्थी प्रथम, 2,07,314 परीक्षार्थी द्वितीय और 11,437 परीक्षार्थी तृतीय श्रेणी से पास हुए हैं. वहीं, वाणिज्य में 9,147 परीक्षार्थी प्रथम, 41,441 द्वितीय, 12,709 परीक्षार्थी तृतीय श्रेणी से और 119 परीक्षार्थी पास हुए हैं.

इस बार ऑप्टिकल मार्किग सिस्टम खत्म कर दिया गया है. इससे इस साल रिजल्ट थोड़ा प्रभावित हुए हैं. मल्टीपुल च्वाइंस से ऑप्टिकल मार्किग सिस्टम में ज्यादा अंक आने की संभावना रहती थी.

पीके शाही, शिक्षा मंत्री

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