Corona Sankat: गणेश चतुर्थी पर सामूहिक मूर्ति विसर्जन और मुहर्रम जुलूस पर लगी रोक, आदेश नहीं मानने वालों पर लगेगा 50 हजार का जुर्माना

Corona Sankat: गणेश चतुर्थी का पर्व 22 अगस्त को मनाया जाएगा. कोरोना वायरस के कारण इस बार गणेश चतुर्थी पर सर्वजनिक मूर्ति स्थापना और पंडाल बनाकर पूजा करने पर रोक लगा दी गई है. वहीं, मुहर्रम पर जुलूस व ताजिया निकालने पर भी पाबंदी होगी. कोरोना वायरस को लेकर केंद्र सरकार की ओर से जारी निर्देशों और गाइडलाइन का पालन सभी को करना होगा.

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 17, 2020 2:18 PM

Corona Sankat: गणेश चतुर्थी का पर्व 22 अगस्त को मनाया जाएगा. कोरोना वायरस के कारण इस बार गणेश चतुर्थी पर सर्वजनिक मूर्ति स्थापना और पंडाल बनाकर पूजा करने पर रोक लगा दी गई है. वहीं, मुहर्रम पर जुलूस व ताजिया निकालने पर भी पाबंदी होगी. कोरोना वायरस को लेकर केंद्र सरकार की ओर से जारी निर्देशों और गाइडलाइन का पालन सभी को करना होगा. इन गाइडलाइन का पालन नहीं करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने कोरोना वायरस को लेकर आगामी त्योहारों से पहले जिला मजिस्ट्रेटों को निर्देश जारी कर कहा है कि गणेश चतुर्थी के दौरान सार्वजनिक स्थानों पर भगवान गणेश की मूर्ति स्थापित करने और मोहर्रम के दौरान जुलूस निकालने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए.

गाइडलाइन का पालन नहीं करने पर देना पड़ेगा 50 हजार का जुर्माना

इस साल कोरोना वायरस फैलने के खतरे को देखते हुए सार्वजनिक गणेश पूजा पर रोक लगा दी गई है. वहीं, मुहर्रम-ताजिया जुलूस पर भी पाबंदी है. इस बार गंगा, यमुना या किसी अन्य जलाशय, सार्वजनिक स्थल, तालाब या घाट पर प्रतिमा विसर्जन की अनुमति नहीं मिलेगी. वहीं, दिल्ली में डीपीसीसी ने कहा कि आदेश का उल्लंघन करने पर पचास हजार रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा. प्रदूषण नियंत्रण संस्था ने लोगों से कहा है कि वे घर में ही बाल्टी या किसी अन्य पात्र में विसर्जन की रीति पूरा करें. दिल्ली सरकार के आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने आदेश जारी कर लोगों से अपने घरों में ही रहने की अपील की है. डीडीएमए ने त्योहारों के मद्देनजर जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण, जिला मजिस्ट्रेट को भी आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं.

यमुना में मूर्ति विसर्जन पर रोक

दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) ने यमुना में मूर्ति विसर्जन पर रोक लगा दी है. राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण 2015 के आदेश का हवाला देते हुए यह पाबंदी लगाई गई है. पिछले साल दिल्ली में 1100 से अधिक जगहों पर मूर्ति विसर्जन के लिए कृत्रिम तालाब बनाए गए थे. अगर यमुना में मूर्ति विसर्जन करते पकड़े जाने पर उसके खिलाफ 50 हजार रुपये का जुर्माना लगेगा. वहीं, डीपीसीसी ने लोगों से अपने घर पर ही पूजा करने की अपील की है.

जरूरत पड़ने पर धारा 144 लागू कर सकती है पुलिस

दिल्ली में संक्रमण फैलने से रोकने के लिए यह कदम जरूरी है. डीडीएमए ने कहा है कि अगर किसी इलाके में धारा 144 लागू करने की जरूरत पड़ेगी तो पुलिस उसे भी कर सकती है. कानून का पालन नहीं करने वालों पर महामारी एक्ट के तहत कार्रवाई की जाएगी. वहीं, समाजिक दूरी का पालन नहीं करने, मास्क नहीं पहनने, सार्वजनिक स्थान पर भीड़ एकत्रित करने जैसे कानून को ध्यान में रखकर कार्रवाई करने को कहा गया है.

News Posted by : Radheshyam kushwaha

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