भुखमरी से निपटना होगा

गरीबी और भुखमरी की समस्या देश के विकास में बाधक हैं. विडंबना यह है कि आजादी के सात दशक बाद भी कई लोगों को आज भी दो वक्त की रोटी नसीब नहीं हो पाती है. झारखंड में भुखमरी की घटनाओं ने फिर सरकार की पोल खोल कर रख दी है. मृत व्यक्ति के पास न […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 21, 2018 6:40 AM
गरीबी और भुखमरी की समस्या देश के विकास में बाधक हैं. विडंबना यह है कि आजादी के सात दशक बाद भी कई लोगों को आज भी दो वक्त की रोटी नसीब नहीं हो पाती है.
झारखंड में भुखमरी की घटनाओं ने फिर सरकार की पोल खोल कर रख दी है. मृत व्यक्ति के पास न तो राशन कार्ड था न ही खाने का कोई सामान, जिसके कारण उसकी मौत हो गयी. हालांकि गरीबी हटाओ से जुड़ी कई योजनाएं सरकार द्वारा चलायी जाती है.
निश्चय ही कुछ गरीबी कम हुई है, लेकिन पूरी गरीबी हट गयी, यह कहना नाइंसाफी होगी. देश एक ओर जहां मेट्रो ट्रेन और स्मार्ट बनने की बात करती है, वहीं दूसरी ओर ऐसी घटनाएं विकास की सारी बातें बकवास ही लगती हैं.
किसी भी देश में सरकार की पहली नीति गरीबी को मिटाना होता है, फिर भी सरकार की विफलता को यहां साफ तौर पर देखा जा सकता है. सरकार को भुखमरी जैसी घटनाओं से निपटना ही होगा ताकि देश विकास की मार्ग पर बिना किसी व्यवधान के बढ़ता रहे.
निलेश मेहरा, मधुपर

Next Article

Exit mobile version