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लू का कहर : अस्पताल व बेड वही, मरीज बदले पर नहीं रुक रहा मौत का सिलसिला, गया अस्पताल में 85 मरीज जिंदगी के लिए कर रहे संघर्ष

जितेंद्र मिश्र अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड, बरामदे व अन्य जगहों के बेड पड़े कम गया : गर्मी व हीट स्ट्राेक से मगध मेडिकल अस्पताल में शनिवार की शाम तीन बजे से लेकर रविवार की दोपहर दो बजे तक जहां मरने वाले 22 लोगों की सूची मेडिकल प्रशासन ने राज्य सरकार काे उपलब्ध करायी, वहीं इस […]

जितेंद्र मिश्र
अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड, बरामदे व अन्य जगहों के बेड पड़े कम
गया : गर्मी व हीट स्ट्राेक से मगध मेडिकल अस्पताल में शनिवार की शाम तीन बजे से लेकर रविवार की दोपहर दो बजे तक जहां मरने वाले 22 लोगों की सूची मेडिकल प्रशासन ने राज्य सरकार काे उपलब्ध करायी, वहीं इस बीच भर्ती मरीजों की संख्या 85 पहुंच गयी. मेडिकल टीम तत्परता से मरीजों के इलाज में जुटी है. हालांकि, कई मरनेवाले ऐसे हैं, जिनका रेकॉर्ड नहीं हैं. कई लोग अस्पताल पहुंचने के पहले ही दम तोड़ बैठे. ऐसे में परिजन डेड बॉडी लेकर अपने घर चले गये.
इधर, रविवार को अस्पताल व बेड वही रहे, लेिकन मरीज बदलने के साथ मौत का सिलसिला अनुग्रह नारायण मगध मेडिकल अस्पताल में चलता ही रहा. रविवार को भी कई मरीज मौत के बाद अस्पताल पहुंचे, तो कई की जान इलाज के दौरान चली गयी. अस्पताल में इलाज के दौरान व अस्पताल पहुंचने से पहले रास्ते में मरनेवालों की संख्या ढाई दर्जन से पार कर गयी है.
हालांकि अस्पताल प्रशासन व जिला प्रशासन अस्पताल में इंट्री हुए आंकड़े के अनुसार ही मरने की पुष्टि कर रही है. अस्पताल में मरीज के आने की संख्या में इमरजेंसी में बेड की संख्या कम पड़ गयी है. इमरजेंसी में पहले से 16 बेड हैं, इसके अलावा यहां बरामदे व अन्य खाली जगहों पर करीब 10 बेड लगाये गये हैं. साथ ही अधीक्षक चेंबर के बाहर बरामदे में करीब 12 बेड लगाये गये हैं. इसके बाद भी बेड की संख्या कम पड़ने के बाद नयी इमरजेंसी बिल्डिंग में एसी लगाकर 24 बेड का हॉल तैयार किया जा रहा है. अधीक्षक विजय कृष्ण प्रसाद ने बताया कि जिला प्रशासन से भी एसी व कई स्टैंड कूलर भेजे गये हैं.
आपदा में हर किसी से मदद के बाद ही निबटा जा सकता है. उन्होंने बताया कि नये इमरजेंसी बिल्डिंग का काम पूरा नहीं हुआ है. लेकिन, मरीज के आने का सिलसिला थम नहीं रहा है. इसके लिए वहां 24 बेड का हॉल एसी लगाकर तैयार किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि मरनेवालों का सही आंकड़ा बताया नहीं जा सकता है.
सिर्फ यहां पहुंचनेवाले मरीज की ही सूची यहां से मिल सकती है. ऐसे अब तक 22 लोगों की मौत अस्पताल में इलाज के दौरान या फिर रास्ते में हुई है. उनका कोई आंकड़ा अस्पताल के पास नहीं है. क्योंकि बाहर-ही-बाहर रास्ते में मौत के बाद अस्पताल लेकर पहुंचे परिजन शव को लेकर चले गये. ऐसे यहां भर्ती सभी मरीजों का इलाज ढंग से किया जा रहा है.
अस्पताल में िदखी डॉक्टरों की कमी
गया : मगध मेडिकल अस्पताल में जितने मरीज पहुंच रहे हैं, उनके इलाज के लिए शनिवार की तरह रविवार को भी कोई अतिरिक्त डॉक्टर मौजूद नहीं दिखे. सिर्फ वहीं दिखे जिनकी रविवार को इमरजेंसी में ड्यूटी थी. निश्चित ड्यूटी वाले डॉक्टर, अधीक्षक, उपाधीक्षक व एक दो अन्य जिम्मेदारी संभालने वाले डॉक्टर ही यहां दिखे. अस्पताल में अधीक्षक डॉ विजय कृष्ण प्रसाद, उपाधीक्षक डॉ पीके अग्रवाल व अस्पताल में जिला प्रशासन से तैनात एडीएम मोहम्मद बलागउद्दीन डॉक्टरों की कमी के कारण बहुत ही परेशान दिखे.
अस्पताल में चर्चा होती रही कि शनिवार की रात डॉक्टरों की पूरी टीम ही यहां पहुंच गयी थी. लेकिन, रविवार को डॉक्टरों की कमी साफ झलक रही है. इस तरह के आपदा में डॉक्टरों को खुद ही अस्पताल पहुंच कर मरीज को देखना चाहिए था. ऐसे अस्पताल प्रशासन की ओर से दूसरा एक ड्यूटी का रोस्टर तैयार किया जा रहा है. सूत्र बताते हैं कि पहले भी कई बार रोस्टर तैयार कर कड़ाई से अनुपालन करने का निर्देश जारी किया गया है. लेकिन, अनुपालन की अवहेलना यहां हर बार की जाती रही है.
जेपीएन अस्पताल में चार मरीज भर्ती
गया. रविवार को जयप्रकाश नारायण अस्पताल में लू के चपेट में आये चार मरीज को भर्ती कराया गया है. अस्पताल सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, अंदर वैरागी के 55 वर्षीय मिथलेश कुमार, मंत्री डॉ प्रेम कुमार के साथ रहकर काम करनेवाले 35 वर्षीय राजकुमार प्रसाद, लखीबाग मानपुर की 21 वर्षीय प्रगति कुमारी व सुनील कुमार शामिल है. सभी की स्थिति खतरे से बाहर बताया जाता है.
पटना : मृतकों के आश्रितों को चार लाख मुआवजा
पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने औरंगाबाद, गया व नवादा में भीषण गर्मी व लू से हुई लोगों की मौत पर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है. मुख्यमंत्री ने कहा कि वह आपदा की इस घड़ी में प्रभावित परिवारों के साथ हैं.
मुख्यमंत्री ने तत्काल मृतकों के आश्रितों को आपदा राहत कोष से चार-चार लाख रुपये अनुग्रह अनुदान देने का निर्देश दिया है. साथ ही पूरे बिहार में इस भीषण गर्मी एवं लू के मद्देनजर जरूरी कदम उठाने का भी निर्देश दिया है. मुख्यमंत्री ने इससे ग्रस्त लोगों के लिए शीघ्र चिकित्सीय सहायता की व्यवस्था करने के निर्देश दिये हैं और उनके जल्द स्वस्थ होने के लिए ईश्वर से प्रार्थना भी की है.
लू व गर्म हवा से करें बचाव
जितनी बार हाे सके पानी पीयें. बार-बार पानी पीयें. सफर में अपने साथ पीने का पानी हमेशा रखें.जब भी बाहर धूप में जायें, तो हल्के रंग के ढीले-ढाले व सूती कपड़े पहने. धूप के चश्मा का इस्तेमाल करें. गमछे या टाेपी से अपने सिर काे ढंके व हमेशा जूता व चप्पल पहनें.
हल्का भाेजन करें, अधिक पानी की मात्रा वाले माैसमी फल जैसे-तरबूज, खीरा, ककड़ी, संतरा आदि का अधिकाधिक सेवन करें.अगर तबीयत ठीक न लगे या चक्कर आये, ताे तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें.
लू लगने पर क्या करें
लू लगे व्यक्ति काे छांव में लिटा दें. अगर उनके शरीर पर लगे कपड़े हाे, ताे उसे ढीला कर दें या फिर हटा दें.
लू लगे व्यक्ति का शरीर ठंडे गीले कपड़े से पाेंछें या फिर ठंडे पानी से नहलायें.
लू लगे व्यक्ति की हालत में एक घंटे तक सुधार न हाे ताे उसे तुरंत नजदीकी स्वासथ्य केंद्र पर ले जायें.
क्या न करें
जहां तक संभव हाे, कड़ी धूप में बाहर न निकलें.
अधिक तापमान में बहुत अधिक शारीरिक श्रम न करें.
चाय, काफी जैसे गर्म पेय व जर्दा, तंबाकू आदि मादक पदार्थाें का सेवन कम करें या फिर न करें ताे बेहतर.
ज्यादा प्राेटीन वाले भाेजन मांस, अंडा या सूखे मेवे का सेवन कम करें या फिर न करें.
यदि व्यक्ति गर्मी या लू के कारण पानी की उल्टियां करें या बेहाेश हाे ताे उसे कुछ भी खाने, पीने काे न दें
बच्चाें काे बंद वाहनाें में अकेला न छाेड़ें.
सरकार ने जारी की गाइडलाइन
डीएम की अध्यक्षता में एक महामारी समिति का गठन हो, जिसमें उप विकास आयुक्त, एसपी, सीएस, आपूर्ति विभाग, लोक स्वास्थ्य व अभियंत्रण विभाग के पदाधिकारी सदस्य होंगे.
यह समिति जिले में चलनेवाली गर्म हवा व लू से उत्पन्न होनेवाली स्थिति के बारे में पूर्व के अनुभवों के आधार पर आपस में तालमेल बना कर काम करेंगे.
लू के लक्षण, उसके कुप्रभाव व प्राथमिक उपचार के लिए सभी स्वास्थ्यकर्मियों को शामिल किया जये. विशेष डॉक्टर की व्यवस्था की जाये. लू की सूचना मिलने पर विशेष दस्ता दल अस्पताल में मरीजों को भर्ती करेंगे.
सभी स्वास्थ्य केंद्रों व अस्पतालों में लू की दवा उपलब्ध होगी व मरीजों को ओआरएस दी जाये.
बिजली विभाग से संपर्क स्थापित कर निरंतर अस्पताल में बिजली की व्यवस्था की जाये.
अगर कोई मरीज लू का शिकार होकर अस्पताल आते हैं, तो इसका आंकड़ा रखें.
सरकारी अस्पताल में लू लगने की स्थिति में पर्याप्त में जीवन रक्षक दवा रखनी है.
अस्पतालों में पानी की व्यवस्था हर हाल में रहें.
निदेशक प्रमुख आपदा लू सेे उत्पन्न होनेवाली बीमारी महामारी को कैसा रोका जाये, इसका निर्णय लेंगे.
रात में चली वार्म वेव
गया शहर की आबादी 10 लाख से ज्यादा है. मौसम विभाग के अनुसार, वार्म वेव तब होता है, जब समान तापमान से तीन-चार डिग्री तापमान ज्यादा होता है. सुबह होती ही तापमान 30 डिग्री से शुरुआत होती है.
समान दिनों में दीन का तापमान 30 से 35 डिग्री के आसपास होता है. लेकिन, पिछले एक सप्ताह से तापमान 35 से शुरुआत हो रही है, इससे रात 12 बजे तक वार्म वेव चलता है. इस कारण आम लोगों को राहत नहीं मिल रही है.
अब तो बरसो मेघा…
तेज धूप व उमस में रविवार को ओर इजाफा हो गया है. सुबह तापमान 28 डिग्री था जो बढ़ते ही दोपहर तक 40 डिग्री पहुंच गया. दिन भर सड़कों पर मामूली चहल-पहल थी. मौसम विभाग ने 20 जून तक हीट वेव चलने की आशंका जतायी है.
बचें इन बीमारियों से बरतें सावधानी
देह को झुलसा देनीवाली गर्मी से सभी परेशान हैं. अब यह लोगों को बीमार करने लगा है. ऐसे लोगों को डॉक्टर जरूरी सलाह दे रहे हैं. डॉक्टर की माने, तो लू सहित अन्य रोगों के मरीज इलाज के लिए रोज अस्पताल आ रहे है. ऐसे में बच्चे खास सावधानी बरतें.
खसरा : गर्मी के मौसम में खसरा होने की आशंका ज्यादा होती है. इसमें शरीर में छोटे-छोटे दाने हो जाते हैं. साथ ही बुखार, सर्दी, आंख का लाल होना सहित कई परेशानी होती है. इसे अब रूबेला के नाम से भी जाता है. बचने के लिए संक्रमण से दूर रहना चाहिए.
टाइफॉइड : गर्मी के मौसम में टाइफॉइड होने की आशंका ज्यादा होती है. यह रोग गंदे पानी पीने व बासी भोजन का सेवन करने से ये रोग होता है. इसमें बुखार, भूख कम लगना, उल्टी व खांसी-जुकाम होता है. इससे बचने का बेहतरीन विकल्प टीकाकरण ही है.
चेचक : गर्मी के मौसम में चेचक का प्रकोप बढ़ जाता है. इसमें शरीर में छोटा-बड़ा दाना निकल जाता है. एक दिन बाद सिर दर्द व बुखार होता है. ये रोग एक के बाद दूसरे में तेजी से फैलता है. इससे बचने के लिए टीका लगाएं व घर को स्वच्छ रखे.
अस्पताल में मरनेवालों की संख्या ढाई दर्जन से पार की
अस्पताल प्रशासन ने 22 मृतकों की सूची राज्य सरकार काे भेजी
नयी बिल्डिंग में मरीज को रखने के लिए लगाया गया एसी
मगध मेिडकल
मृतकों के नाम उम्र पता माैत की अवस्था
कलावती देवी 70 बड़की डेल्हा, गया इलाज के दाैरान
माे अमीन 80 टिकारी, गया इलाज के दाैरान
पार्वती देवी 70 पथरा, गुरारू इलाज के दाैरान
मदन राम 82 मखसूदपुर, खिजरसराय (गया) इलाज के दाैरान
कन्हाई प्रसाद गुप्ता 52 टिकारी राेड, गया इलाज के दाैरान
राम किशुन चाैधरी 60 विशुनगंज, मेडिकल थाना , गया इलाज के दाैरान
किरण देवी 27 मंझाैलिया, आमस इलाज के दाैरान
राम नारायण यादव 72 अमरा, काेंच (गया) इलाज के दाैरान
राजकुमारी देवी 70 पुरा, वजीरगंज(गया) इलाज के दाैरान
सुखदेव पासवान 50 टनकुप्पा इलाज के दाैरान
साेनम सिंह 28 गाेल बगीचा, गया अस्पताल आने से पहले
अब्दुल 74 चांकद, गया अस्पताल आने से पहले
शांति देवी 84 चांदचाैरा, गया अस्पताल आने से पहले
ज्याेति कुमारी 30 गुरारू, गया अस्पताल आने से पहले
माे बदरूद्दीन 80 हाजीपुर, गाेला, रफीगंज (आैरंगाबाद) इलाज के दाैरान
जहरूल हक 52 भरथाैली, आैरंगाबाद इलाज के दाैरान
रामदेव सिंह 52 आेबरा, आैरंगाबाद अस्पताल आने से पहले
बेबी देवी 40 कठरुआ, आैरंगाबाद अस्पताल आने से पहले
सिद्धनाथ वर्मा 56 शेखपुरा अस्पताल आने से पहले
राम प्यारी देवी 80 रजाैली, नवादा इलाज के दाैरान
सत्येंद्र सिंह 45 हंटरगंज, चतरा इलाज के दाैरान
अर्जुन शर्मा 80 मननपुर मखदुमपुर इलाज के दौरान
पवन विश्वकर्मा 50 राजन गुरुआ इलाज के दौरान
देवनाथ यादव 60 सोना बिगहा मगध मेडिकल थाना रास्ते में हुई मौत
मीना देवी 65 पावर टनकुप्पा इलाज के दौरान मौत
धीरज तिवारी 38 गेवाल बिगहा इलाज के दौरान मौत
(इनके अलावा भी कई मरीज ऐसे आये, जिनकी अस्पताल पहुंचने से पहले या पहुंचते ही मौत हो गयी और अस्पताल में इसकी कोई इंट्री नहीं की जा सकी है. अस्पताल अधीक्षक ने भी इस बात की पुष्टि की है. सूत्र बताते हैं कि ऐसे में मृतकों की संख्या एक दर्जन से अिधक है.)
उपरोक्त सूची शनिवार और रविवार की है.
नवादा
शनिवार को मरनेवालों के नाम
नाम पता उम्र कहां हुई मौत
देवचंद्र पंडित गोविंदपुर 72 सदर अस्पताल
बाबू लाल सिंह रोह 75 सदर अस्पताल
सुखदेव सिंह वजीरगंज 90 सदर अस्पताल
श्रीदेवी नारदीगंज 73 सदर अस्पताल
देव नारायण यादव पावापुरी 65 मेडिकल कॉलेज
रामस्वरूप रविदास कौआकोल 70 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कौआकोल
इसके अलावा भी सात लोगों की मौत की सूचना है, जिसका अस्पताल के पास रेकार्ड नहीं है.
रविवार को मरनेवालों के नाम
नाम पता उम्र कहां हुई मौत
कृष्णदेव प्रसाद सिंह भदोखरा 53 सदर अस्पताल
सीताराम यादव हिसुआ के फागो बिगहा
मदनलाल व असलम खान नवादा
औरंगाबाद
शनिवार को मरनेवालों के नाम
छह वर्षीय मो सुहैल
जम्होर के देउरिया की मालती देवी
बेल ओबरा के कमऊ हसन
गोड़ियारपुर कुटुंबा की रीना देवी
सरंगा बारुण के बाल कुमार सिंह
पहड़पुरा के उपेंद्र प्रसाद सिंह
महुअरी माली के वीरेंद्र कुमार
केताकी देव के लालबाबू
टेंगरा के भागवत ठाकुर
पचौखर देव के नरेंद्र कुमार अम्बष्ट, चेतन
फेसर की देवंती देवी
चनौती माली की वकीला देवी
रतनुआ की शारदा देवी
गंज मुहल्ले की जैबुन निशा
श्यामता सिंह, रेणु देवी
जहानाबाद जिले के नगवा गांव की विंदेश्वरी भारती
टिकरी मुहल्ले की ललिता चौधरी.
विराटपुर की आसमां परवीन
कजरा के झूलन
मायािबगहा के राज प्रसाद रविदास
इसके अलावा अन्य मृतकों के नाम-पते की जानकारी नहीं मिल सकी है.
रविवार को मरनेवालों के नाम
फेसर थाना क्षेत्र की रुस्तम
देवरिया गांव के धर्मेंद्र मिश्रा
कुटुंबा के रामकली कुंवर
बिजौली की लकेश्वरी देवी
बराटपुर की बेबी देवी
टिकरी मुहल्ला के लक्ष्मन मिस्त्री
मदनपुर भाभा बिगहा के रामप्रसाद
मदनपुर के ही सीताराम चौधरी
करमा रोड के रंजीत कुमार
पिपरडीह की बिगनी देवी
न्यूू एरिया के सुंदरम सिंह
हसपुरा के रामपुर चाय गांव के जगरनाथ ठाकुर
ओबरा के नरौला की माधुरी देवी
मदनपुर के झिकटिया के ललन लाल
मदनपुर के तेलडिहा के अवधेश नारायण सिंह, वीरेंद्र सिंह व दिलकेश्वर राम की मां इंदिरा देवी
कोल मंझौली के रामप्रसाद सिंह
नवीनगर के बसन बिगहा की जयनूल खातून
औरंगाबाद के विराटपुर मुहल्ले के सालिक प्रसाद
सोनवर्षा खैरा माली के महावीर मिस्त्री
रिसियप मटहानी की फूलमती देवी
हसपुरा के अहियापुर के जगदीप महतो व रामपट्टी राम
मदनपुर फील्ड पर अज्ञात महिला की मौत
ओबरा के बेल गांव के मोहम्मद कमरुद्दीन, घेटरा गांव के जगधारी राम, रामदेव यादव व महथा गांव के रामप्रवेश यादव की पत्नी वैजयंती देवी व नन्हक चंद्रवंशी उर्फ धर्मदेव सिंह
रफीगंज के चित्रसारी के पप्पू कुमार
रफीगंज के माड़ीपुर के अज्ञात साधु की मौत
रफीगंज के फीदा बिगहा गांव के मो इलियास
मदनपुर के धोबडिहा गांव के कामदेव नारायण सिंह
अंबा के डुमरी गांव के यशोमती कुंवर
माली के चरण महादेवा की रेणु देवी
रोहतास
शनिवार और रविवार को मरनेवालों के नाम
चेनारी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में पदस्थापित एंबुलेंस कर्मी स्वमीनाथ दुबे
चेनारी के पेवंदी गांव निवासी 55 वर्षीय शिव बच्चन बैठा व 60 वर्षीय शिव वचन पाल
अकोढ़ीगोला के बाक गांव के 50 वर्षीय दीनानाथ भगत, 45 वर्षीय भीम सिंह, 80 वर्षीय रामसूरत सिंह, 65 वर्षीय ठाकुर यादव व मथुरापुर निवासी 60 वर्षीय लखन
कोचस प्रखंड के सावन डिहरी निवासी 85 वर्षीय सुरेश खरवार

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