रांची : छठी जेपीएससी संयुक्त सिविल सेवा प्रतियोगिता मामले में सुनवाई जारी, आज फिर होगी मामले की सुनवाई
मामला छठी जेपीएससी पीटी के रिजल्ट को चुनौती देने का रांची : झारखंड हाइकोर्ट में मंगलवार को झारखंड लोक सेवा आयोग (जेपीएससी) की ओर से संचालित छठी संयुक्त सिविल सेवा प्रतियोगिता परीक्षा मामले में एकल पीठ के आदेश को चुनौती देनेवाली याचिका पर सुनवाई हुई. चीफ जस्टिस अनिरुद्ध बोस व जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ […]
मामला छठी जेपीएससी पीटी के रिजल्ट को चुनौती देने का
रांची : झारखंड हाइकोर्ट में मंगलवार को झारखंड लोक सेवा आयोग (जेपीएससी) की ओर से संचालित छठी संयुक्त सिविल सेवा प्रतियोगिता परीक्षा मामले में एकल पीठ के आदेश को चुनौती देनेवाली याचिका पर सुनवाई हुई.
चीफ जस्टिस अनिरुद्ध बोस व जस्टिस रत्नाकर भेंगरा की खंडपीठ में मामले की सुनवाई हुई. प्रार्थी के वरीय अधिवक्ता आरएस मजूमदार ने बताया कि जेपीएससी द्वारा जारी प्रारंभिक प्रतियोगिता (पीटी) का रिजल्ट गलत है. उसे निरस्त किया जाना चाहिए. जेपीएससी ने प्रकाशित नियुक्ति विज्ञापन में कई बार बदलाव किया है. पीटी का रिजल्ट विज्ञापन के अनुसार नहीं है. विज्ञापन में 15 गुना रिजल्ट निकालने की बात कही गयी थी.
राज्य सरकार की ओर से महाधिवक्ता अजीत कुमार ने प्रार्थी की दलील का विरोध करते हुए कहा कि अभ्यर्थियों व छात्रहित को ध्यान में रखते हुए सरकार ने न्यूनतम कट ऑफ मार्क्स लानेवाले अभ्यर्थियों को सफल करने का निर्णय लिया था. इससे अधिक से अधिक अभ्यर्थियों को लाभ मिला. जेपीएससी द्वारा अधिक अभ्यर्थियों को सफल घोषित किया गया. इस पर किसी को आपत्ति नहीं होनी चाहिए.
हालांकि, बहस अधूरी रही. मामले की अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने 23 जनवरी की तिथि निर्धारित की. इससे पूर्व जेपीएससी की ओर से अधिवक्ता संजय पीपरवाल ने पक्ष रखा. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी पंकज कुमार पांडेय ने अपील याचिका दायर कर एकल पीठ के आदेश को चुनौती दी है. एकल पीठ ने प्रार्थी की दलील को खारिज कर दिया था और जेपीएससी को पीटी का संशोधित रिजल्ट जारी करने का आदेश दिया था.
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