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पटना : दूसरों की जान मुश्किल में डाल रहे लहरियाकट बाइकर्स

अनुपम कुमार/नितिश शहर की सुरक्षा के लिए खतरा बनी रैश ड्राइविंग, एक वर्ष में 80 भीषण दुर्घटनाएं पटना : बुधवार को साइंस कॉलेज की एक छात्रा को लहरियाकट बाइकर्स ने टक्कर मार दी. टक्कर इतनी जबर्दस्त थी कि उससे छात्रा दूर जा गिरी. उसके सिर में तेज चोट लगी. ऐसा नहीं कि पहली बार ऐसा […]

अनुपम कुमार/नितिश
शहर की सुरक्षा के लिए खतरा बनी रैश ड्राइविंग, एक वर्ष में 80 भीषण दुर्घटनाएं
पटना : बुधवार को साइंस कॉलेज की एक छात्रा को लहरियाकट बाइकर्स ने टक्कर मार दी. टक्कर इतनी जबर्दस्त थी कि उससे छात्रा दूर जा गिरी. उसके सिर में तेज चोट लगी.
ऐसा नहीं कि पहली बार ऐसा हुआ है कि लहरियाकट बाइकर्स किसी की जान के लिए घातक बने हों. आये दिन ऐसे मामले आते ही रहते हैं जब लहरियाकट बाइकर्स की रैश ड्राइविंग के कारण किसी की जान चली गयी हो या जाते-जाते बची हो. पिछले एक वर्ष में पटना शहर में सड़क दुर्घटना के 144 मामले दर्ज किये गये, जिनमें 80 मामलों में दुर्घटना की वजह रैश ड्राइविंग थी.
हालांकि लहरियाकट बाइकर्स के कारण हुई वास्तविक दुर्घटनाओं की संख्या इससे लगभग तीन गुनी से ज्यादा है. कम चोट लगने पर ज्यादातर मामलों में लोग मामला दर्ज करवाने से बचते हैं.
खुद जोखिम लेते ही हैं, दूसरों की जान भी जोखिम में डालते हैं : लहरियाकट बाइकर्स खुद तो अपनी जान पर जोखिम लेते ही हैं, दूसरों की जान भी जोखिम में डाल देते हैं. आसपास चलने वाले पैदल यात्री व अन्य वाहन चालकों को इनकी वजह से बहुत असुविधा होती है.कई बार अाड़े-तिरछे वाहन घुमा कर लहरियाकट बाइकर्स अन्य बाइक सवारों के सामने अचानक इस तरह से आ जाते हैं कि इनसे टकराने से बचने के प्रयास में वे असंतुलित होकर किसी अन्य वाहन या डिवाइडर से टकरा जाते हैं.
ट्रैफिक पुलिस बेबस
लहरियाकट बाइकर्स डेढ़-दो लाख रुपये कीमत वाली महंगी बाइक इस्तेमाल करते हैं, जिनका पिकअप काफी बेहतर होता है. पांच से दस सेकेंड के भीतर ही 80-90 किमी प्रति घंटे की रफ्तार हासिल करने में ये सक्षम होते हैं.
ऐसे में आउटपोस्ट पर बिना हथियार और वाहन के खड़ा ट्रैफिक सिपाही चाह कर भी इनको पकड़ने और जुर्माना वसूलने की कार्रवाई में सक्षम नहीं है. रैश व लहरियाकट ड्राइविंग के लिए दो हजार तक जुर्माना का प्रावधान होने और ऐसे तत्वों पर दूसरे का जान जोखिम में डालने के जुर्म में एफआईआर कर उनको जेल भेजने की ट्रैफिक एसपी की घोषणा के बावजूद इन पर सख्ती नहीं हो पा रही है. ट्रैफिक पोस्ट पर आते-आते लहरियाकट बाइकर्स की रफ्तार थम चुकी होती है, इसलिए ट्रैफिक पुलिस के हाई रिजॉल्यूशन कैमरों के फुटेज देख कर भी इनको पहचानना आसान नहीं होता है.
महिलाओं व छात्राओं के लिए खतरनाक
लहरियाकट बाइकर्स महिलाओं व छात्राओं के लिए अधिक खतरनाक हैं. लहरियाकट बाइक चलाने वाले ज्यादातर लड़के संपन्न परिवारों के कम उम्र के युवा होते हैं, जो अपनी बाइक की रफ्तार व करतबबाजी से युवतियों को आकर्षित करना चाहते हैं.
यही वजह है कि पटना वीमेंस कॉलेज, जेडी वीमेंस कॉलेज जैसे महिला कॉलेजों के सामने की सड़क पर ऐसे बाइकर्स की गतिविधियां अधिक दिखती हैं. इसके कारण युवतियों और महिलाओं के इन तेज रफ्तार वाहनों के चपेट में आने की ज्यादा आशंका रहती है.
उल्लंघन पर दंड
महंगी बाइक खरीदने या बेचने से हम किसी को नहीं रोक सकते पर गति सीमा का उल्लंघन करने पर मोटर व्हेकिल एक्ट में दंड का स्पष्ट प्रावधान है.
शहर में अधिकतर जगहों पर गति सीमा तय है. ऐसे में लहरियाकट बाइकर्स के विरुद्ध ट्रैफिक पुलिस को सख्त कार्रवाई करनी चाहिए. पटना पुलिस के विभिन्न थानेदारों और उससे ऊपर के अधिकारियों को भी कार्रवाई का अधिकार हम छह-छह महीने के लिए देते जा रहे हैं. उनको भी सख्ती दिखानी चाहिए.
-अजय कुमार ठाकुर, डीटीओ
कार्रवाई कर रहे
पुलिस द्वारा बुधवार से लहरियाकट बाइकर्स के विरुद्ध अभियान शुरू किया गया है. हमारे 69 पुरुष ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को भी इस अभियान में लगाया गया है. बिना शस्त्र और वाहन के ऐसे तत्वों पर कार्रवाई में मुश्किलें आती हैं, इसलिए पुलिस के साथ मिल कर हम कार्रवाई कर रहे हैं.
पीएन मिश्र, ट्रैफिक एसपी
लहरियाकट पर दो हजार की बजाय मात्र 100 रुपये जुर्माना
एक नजर तिथि पकड़ाये वाहन जुर्माना
04 44 8500 रुपये
05 157 42100 रुपये
06 नहीं चला अभियान
07 102 14900 रुपये
08 146 29500 रुपये
09 13 3700 रुपये
10 अभियान नहीं चला
11 90 14200 रुपये
12 156 31700 रुपये
13 150 15000 रुपये
पटना : पटना पुलिस चार सितंबर से लहरियाकट बाइकर्स के खिलाफ अभियान चला रही है. हालांकि यह अभियान अपना मकसद पाने में असफल रहा है. दरअसल इन बाइकर्स के खिलाफ पुलिस केवल सौ रुपया जुर्माना वसूल रही है, जबकि नियमानुसार इसमें दो हजार रुपया जुर्माने का प्रावधान है. एसएसपी मनु महाराज ने डीएसपी मसेलउद्दीन के नेतृत्व में इन बाइकर्स पर नकेल कसने के लिए टीम का गठन किया है. प्रतिदिन कई इलाकों में चेकिंग की जा रही है, लेकिन कम जुर्माना लेने के कारण ये बाइकर्स सुधर नहीं रहे.
अपराध में भी सक्रिय
लहरियाकट बाइकर्स का एक धड़ा अपराधी प्रवृत्ति के युवकों का है. ये शौकिया रैश ड्राइविंग न करके बल्कि महिलाओं के गले की चेन छीन कर भागने या लूट, हत्या, अचानक गोली-बारी कर धमकाने जैसी अापराधिक गतिविधियों के लिए करते हैं.

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