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पिपरवार : बाजार व ट्रांसपोर्टिंग बंद कराया
पिपरवार में नाबालिग बच्चियों की मौत से आक्रोश पिपरवार : दो नाबालिग बच्चियों की मौत के बाद पिपरवार में लोग आंदोलित हैं. सैकड़ों की संख्या में एक साथ तीन स्थानों पर लोग आंदोलनरत हैं. भीड़ का एक हिस्सा पिपरवार थाना के समक्ष नारेबाजी व पत्थरबाजी कर रहा था. तो दूसरा हिस्सा घूम-घूम कर बाजार व […]
पिपरवार में नाबालिग बच्चियों की मौत से आक्रोश
पिपरवार : दो नाबालिग बच्चियों की मौत के बाद पिपरवार में लोग आंदोलित हैं. सैकड़ों की संख्या में एक साथ तीन स्थानों पर लोग आंदोलनरत हैं. भीड़ का एक हिस्सा पिपरवार थाना के समक्ष नारेबाजी व पत्थरबाजी कर रहा था. तो दूसरा हिस्सा घूम-घूम कर बाजार व दुकानें बंद करा रहा था. वहीं तीसरा हिस्सा बचरा अस्पताल में जुटा था. इसमें अधिकतर महिलाएं थीं.
पुलिस द्वारा हंगामा कर रही भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज की घटना के बाद लोगों ने आरसीएम व बचरा साइडिंग की कोयला ढुलाई रोक दी. चुनाव कार्य के लिए आयी एक पुलिस बस के शीशे तोड़ दिये. टंडवा बीडीओ प्रताप टोप्पो व थाना प्रभारी भीड़ को समझाने का काफी प्रयास करते देखे गये. लेकिन आक्रोशित भीड़ न्याय की मांग को लेकर रुक-रुक कर पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करती रही.
जंगल में बिखरी थी शराब की बोतलें
सूखी लकड़ियां चुनने जंगल गये तीन नाबालिग बच्चों के गायब हो जाने की खबर से पुलिस परेशान रही. बच्चों को खोजने के लिए एसडीपीओ, थाना प्रभारी व सशस्त्र बल टीएच कॉलोनी से सटे जंगल में चलाये जा रहे सर्च अभियान में शामिल थे. अंधेरे के कारण पुलिसकर्मियों को कोई सफलता नहीं मिली.
लेकिन सुबह ग्रामीणों ने आठ वर्षीय बालक को मैगजीन के निकट जंगल में घायल अवस्था में बरामद किया. दोपहर में लगभग तीन बजे मैगजीन से दो किमी दूर जंगल में दोनों लड़कियों को भी ग्रामीणों ने खोज निकाला. इनमें से एक बच्ची की सांस चल रही थी. ग्रामीणों ने तुरंत दोनों को बाइक से अस्पताल पहुंचाया. जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया. सभी बच्चों के सिर पर पत्थर से प्रहार किया गया था. उनके सिर पर जख्म के निशान थे.
पिपरवार में इस तरह की पहली घटना है. इससे आम जनमानस उद्वेलित है. वहीं परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था. लोग इस घटना के लिए पुलिस को कसूरवार ठहरा रहे थे. पूरे जंगल में जगह-जगह शराब की बोतलें बिखरी पड़ी थी. कॉलोनी के लोग बताते हैं कि जंगल में जुआ व शराब का अड्डा बना हुआ था. यहां अपराधकर्मियों के आना-जाना लगा रहता था.
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