31.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

नाव पलटी, सात लड़कियां तैरकर निकलीं, एक लापता

रूपनी पंचायत के टोला मठ की आठ लड़कियां गयी थीं घास काटने मधुबन : रूपनी पंचायत के टोला मठ गांव की आठ लड़कियां घास काट कर नाव से लौट रही थी. इसी दौरान बुधवार की शाम बूढ़ी गंडक में नाव पलट गयी, जिसमें सात लड़कियां किसी तरह तैरकर व ग्रामीणों के सहयोग से निकल गयी. […]

रूपनी पंचायत के टोला मठ की आठ लड़कियां गयी थीं घास काटने

मधुबन : रूपनी पंचायत के टोला मठ गांव की आठ लड़कियां घास काट कर नाव से लौट रही थी. इसी दौरान बुधवार की शाम बूढ़ी गंडक में नाव पलट गयी, जिसमें सात लड़कियां किसी तरह तैरकर व ग्रामीणों के सहयोग से निकल गयी. वही एक लड़की नहीं निकल पायी, जिसकी खोज दूसरे दिन भी जारी है. लापता युवती गांव के विश्वनाथ भगत की पुत्री चांदनी कुमारी (11) बतायी जाती है. शव की खोज के लिए एनडीआरएफ की टीम को बुलाया गया है.
जानकारी के अनुसार प्रतिदिन की तरह चांदनी सहेलियों के साथ नदी उस पार परवल के खेत से बकरी के लिये घास लेने गयी थी. शाम में करीब पांच बजे के करीब घास काटकर नाव पर घास लेकर लौट रही थी. नाव पर सवार लड़कियां ही नाव चला रही थी. किनारे लगने से पहले नाव डगमगाने लगी, जिससे नाव अनियंत्रित होकर पलट गयी.
इसी बीच गांव की एक महिला मिट्टी लाने गयी थी. हल्ला करने पर ग्रामीणों के सहयोग से डूब रही लड़कियों को बाहर निकाला गया, जबकि चांदनी का कोई पता नहीं चल पाया. पूरी रात स्थानीय लोग शव को खोजने में नदी किनारे जमे रहे. गुरुवार को सीओ राकेश रंजन एनडीआरएफ की टीम को लेकर नदी किनारे पहुंचे.
इनकी बची जान
बैजू भगत की पुत्री काजल कुमारी (12), गणेश भगत की पुत्री रवीना कुमारी (14), संजय भगत की पुत्री रेशमा (10) व रचना (08), दिलीप प्रसाद की पुत्री मनीषा कुमारी (10) व सुमन (12) तथा प्रमोद भगत की पुत्री रिंकू कुमारी (11) गांव वालों के सहयोग से तैरकर निकल गयी. इस मौके पर मुखियापति किशोरी बैठा, जावेद आलम, विजय कुमार यादव, अमरेश कुमार अन्य ग्रामीण मौजूद थे.
इधर, लापता चांदनी की मां का रो-रोकर बुरा हाल है. चांदनी तीन भाई-बहनों में सबसे छोटी है. बड़ा लड़का 15 वर्षीय नंदन कुमार, उसके बाद 13 वर्षीय रूपा कुमारी व सबसे छोटी चांदनी है. विश्वनाथ भगत काफी गरीब है, जिनकी तबीयत हमेशा खराब रहती है. बेटी की मौत से उसकी मां दुलारी देवी का रो-रोकर बुरा हाल है. चांदनी प्रतिदिन बूढ़ी गंडक पार कर दूसरे किनारे से बकरी के लिए घास के लिए गयी थी. नाव उसके बाबा लक्षण भगत की थी, जिसे सभी गांववाले प्रयोग करते हैं. ये लड़कियां खुद नाव चलाकर आती-जाती थी. ग्रामीण विजय कुमार यादव ने बताया कि उनके गांव में इस तरह का हादसा कभी नहीं हुआ था.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें