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बिहार में हमने कानून का राज कायम किया : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार

पटना :बिहारके मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज जल-जीवन-हरियाली यात्रा केदूसरे दिन जागरूकता सम्मेलन में 1042 करोड़ रुपये की लागत वाली 589 विकासात्मक योजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास रिमोटके माध्यम से शिलापट्ट का अनावरण कर किया. पूर्वी चंपारण के अरेराज प्रखंड मुख्यालय स्थित महंत शिवशंकर गिरि महाविद्यालय स्टेडियम में आयोजित जागरूकता सम्मेलन में मुख्यमंत्री को पौधा […]

पटना :बिहारके मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज जल-जीवन-हरियाली यात्रा केदूसरे दिन जागरूकता सम्मेलन में 1042 करोड़ रुपये की लागत वाली 589 विकासात्मक योजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास रिमोटके माध्यम से शिलापट्ट का अनावरण कर किया. पूर्वी चंपारण के अरेराज प्रखंड मुख्यालय स्थित महंत शिवशंकर गिरि महाविद्यालय स्टेडियम में आयोजित जागरूकता सम्मेलन में मुख्यमंत्री को पौधा एवं अंगवस्त्र भेंटकर तिरहुत प्रमंडल के आयुक्त पंकज कुमार ने उनका अभिनंदन किया. दीप प्रज्ज्वलित कर जागरूकता सम्मेलन का मुख्यमंत्री ने विधिवत उद्घाटन किया.

स्थानीय नेताओं एवं जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री को गुलदस्ता, अंगवस्त्र एवं माला पहनाकर उनका स्वागत किया. जल-जीवन-हरियाली अभियान एवं पूर्वी चंपारण से जुड़ी विकासात्मक योजनाओं से संबंधित पुस्तिका का मुख्यमंत्री ने विमोचन किया. मुख्यमंत्री ने विवाह सहायता अनुदान, स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजनाके लाभार्थियों को लाभ एवं 518 जीविका समूहों को 7 करोड़ 77 लाख रुपये का चेक प्रदान किया. सम्मेलन से पूर्व मुख्यमंत्री ने प्रखंड सूचना प्रौद्योगिकी केंद्र, अरेराज एवं विश्व बैंक संपोषित बिहार समेकित सामाजिक सुरक्षा सृढ़ीकरण परियोजना अंतर्गत वृद्धजनों, दिव्यांगजनों एवं विधवाओं हेतु सामाजिक सुरक्षा एवं देखभाल केंद्र (बुनियादी केंद्र) का उद्घाटन शिलापट्ट का अनावरण कर किया. इसके बाद मुख्यमंत्री ने इन केन्द्रों का मुआयना किया.

मुख्यमंत्रीने जल-जीवन-हरियाली उद्यान का भी उद्घाटन किया एवं परिसर में वृक्षारोपण किया. अनुमंडल कार्यालय अरेराज के समक्ष ड्रिप सिंचाई प्रणाली के तहत शुरू की गयी फूलों की खेती का मुख्यमंत्री ने निरीक्षण कर कृषि विभाग के अधिकारियों से जानकारी ली. जनसभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने सबसे पहले कार्यक्रम में उपस्थित लोगों का हृदय से अभिनंदन करते हुए उन्हें धन्यवाद दिया. कहा कि आप सबके बीच उपस्थित होकर मुझे बेहद खुशी हो रही है.अापने जब से हमें काम करने का मौका दिया है, तब से हमने न्यायके साथ विकास का काम करते हुए हाशिये पर खड़े सर्व समुदाय के लोगों के उत्थान हेतु विशेष काम कियाहै. हमने बिहार में कानून का राज कायम किया. पहले चम्पारण की क्या स्थिति थी. बिहारके हर इलाके का न सिर्फ विकास हुआहै बल्कि प्रति व्यक्ति आय और बिहार का बजट भी बढ़ाहै. बिहारके हर गांव अौर उसके टाेलोंको पक्की सड़काें से जोड़ा जा रहाहै. यही नहीं बिहारके सुदूर इलाके से 5 घंटे में लाेग पटना पहुंच सकें, इस लक्ष्य काे पूरा करने की दिशा में भी काम तेजी से आगे बढ़ रहाहै. आज इस सम्मेलन के माध्यम से भी 827 करोड़ रुपये की लागत वाली 493 सड़कों का उद्घाटन और शिलान्यास किया गया है.

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने हर यात्रा की शुरुआत चम्पारण से कीहै. इस धरती का काफी महत्वहै 1917 में बापू ने इसी चंपारण से सत्याग्रह की शुरुआत की, जिसके 30 सालके अंदर ही देश आजाद हो गया. हम जब भी कोई नया निर्णय लेते हैं तो उसके क्रियान्वयनके लिये समीक्षा एवं अपनी यात्रा की शुरुआत कर लोगों की राय लेते हैं ताकि उसे सही रूप में लागू किया जा सके. चम्पारणके प्रति हमारे मन में श्रद्धा का भावहै. उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन और माैसम में बदलावके कारण बिहार कभी बाढ़ तो कभी सुखाड़ का दंश झेल रहाहै. 2018 में बिहार के सभी 534 प्रखंडों में से 280 ब्लॉकाें काे सूखाग्रस्त घोषित करना पड़ा. जलवायु परिवर्तन के कारण पर्यावरण में आए बदलाव काे देखते हुए हमने इस वर्ष 13 जुलाई को विधानमंडल सदस्यों की एक संयुक्त बैठक बुलाई जो आठ घंटे तक चली. बैठक में हमलोगों ने पूरे बिहार में जल-जीवन-हरियाली अभियान चलाने का निर्णय लिया.

इस अभियान में जलवायु के अनुकूल कृषि कार्यक्रम काे भी जाेड़ा गयाहैं.जल-जीवन-हरियाली अभियानके तहत अगले 3 वर्षाें में 24,500 कराेड़ रुपये की राशि खर्च कर 11 सूत्री कार्यक्रम काे मिशन माेड में पूरा किया जाना है ताकि जलवायु परिवर्तन के कारण उत्पन्न संकट से लाेगाेंको निजात दिलाया जा सके. इसके लिए साेखते का निर्माण, रेनवाटर हार्वेस्टिंग, वृहत् पैमाने पर वृक्षारोपण, आहर-पईन, तालाब, सार्वजनिक कुंआें, नलकूप का जीर्णाेद्धार कराने के साथ ही उसे अतिक्रमणमुक्त कराया जाएगा.

मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले बिहार में 15 जून से ही मॉनसून की शुरुआत हाे जाती थी आैर औसतन 1200 से 1500 मिलीमीटर वर्षापात हुआ करता था लेकिन पिछले तीस साल के वर्षापात का अगर रिकॉर्ड देखें ताे आैसतन 1500 मिलीमीटर से घटकर वर्षापात 1017 मिलीमीटर पर पहुंच गयाहै. वहीं विगत 13 वर्षाें के वर्षापात के आंकड़ों को देखें ताे बिहार में आैसतन वर्षापात घटकर 901 मिलीमीटर पर पहुंच गयाहै. इस वर्ष भूजल स्तर दक्षिण बिहार के साथ-साथ उत्तर बिहार के दरभंगा में भी काफी नीचे चला गया था. दुनिया के कई देशाें में जल की समस्या उत्पन्न हाे गई है. मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले राेहतास आैर कैमूर के इलाके में ही खेताें में फसल अवशेष जलाए जाते थे लेकिन अब यह सिलसिला पटना, नालंदा हाेते हुए नार्थ बिहार चम्पारण आैर पूर्णिया के इलाके में भी पहुंच गया है, जाे बहुत ही खतरनाक है. खेताेंमें फसल अवशेष जलाए जाने की परम्परा पर पाबंदी लगाने के लिए लिए लोगाें काे प्रेरित करने के साथ-साथ हमलाेग किसानों की मदद भी करेंगे.

मुख्यमंत्री ने कहा कि हर इच्छुक परिवार तक बिजली पहुंचाने का लक्ष्य हमने दिसंबर 2018 तक निर्धारित किया था, जिसे तय समय सीमा से दाे माह पहले ही पहुंचा दिया गया. हर घर बिजली याेजना काे अपनाए जाने के साथ-साथ अब केंद्र ने भी वर्ष 2024 तक हर घर नल का जल पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित कियाहै. उन्हाेंने कहा कि सौर ऊर्जा ही अक्षय ऊर्जा है जाे हमें पृथ्वी का अस्तित्व बरकरार रहने तक सदैव मिलता रहेगा.ग्रिड के माध्यम से हम जाे बिजली पहुंचा रहे हैं, उसकी एक समय सीमा है, क्याेंकि काेयले का सीमित भंडार है इसलिए सौर ऊर्जा के प्रति हमलोग लाेगाें काे प्रेरित करेंगे क्याेंकि सही मायने में सौर ऊर्जा ही असली ऊर्जा है, सौर ऊर्जा ही है जाे सदैव लोगाें काे मिलता रहेगा. इसके लिए सबसे पहले सभी सरकारी भवनाें पर साेलर प्लेट लगाने के बाद लाेगाें काे अपने-अपने घराें पर सोलर प्लेट लगाने के लिए हमलाेग प्रेरित करेंगें

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