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ममता को नंदीग्राम-सिंगूर की याद दिलाना चाहते हैं मुकुल
कोलकाता : तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होनेवाले मुकुल राय लोकसभा चुनाव में प्रदेश भाजपा के चालक बने हुए हैं. लिहाजा बेहतर परिणाम के लिए वह लगातार ममता बनर्जी पर निशाना साध रहे हैं. कोलकाता अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव के दूसरे दिन उन्होंने ममता बनर्जी को नंदीग्राम और सिंगूर के संग्राम की याद दिलायी. उन्होंने […]
कोलकाता : तृणमूल कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होनेवाले मुकुल राय लोकसभा चुनाव में प्रदेश भाजपा के चालक बने हुए हैं. लिहाजा बेहतर परिणाम के लिए वह लगातार ममता बनर्जी पर निशाना साध रहे हैं. कोलकाता अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव के दूसरे दिन उन्होंने ममता बनर्जी को नंदीग्राम और सिंगूर के संग्राम की याद दिलायी.
उन्होंने कहा कि इतिहास खुद को दोहराता है. इस बार भी वही होगा. 2007 में इसी नवंबर के महीने में जब सिंगूर का आंदोलन पूरे शबाब पर था. ममता के मुताबिक माकपा के हर्मद वाहिनी इलाके के 13 लोगों की हत्या कर दी थी. पुलिस का अत्याचार बढ़ गया था. उस वक्त मुख्यमंत्री बुद्धदेव भट्टाचार्य ने विवादस्पद बयान दिया था कि उनका सिक्का उन्हें वापस किया गया.
यानी माओवादियों की हिंसा का जवाब दिया गया. यह बयान देने के बाद वह कोलकाता फिल्म महोत्सव के उद्घाटन में व्यस्त हो गये थे. इस घटना के बाद राजनीति ने करवट ली और पश्चिम बंगाल की तख्त पर ममता बनर्जी बैठीं. लेकिन नंदीग्राम व सिंगूर को भूल गयीं. फिल्म महोत्सव में भी उस घटना का कोई जिक्र नहीं किया.
इसकी उम्मीद भी नहीं है. मुकुल के अनुसार ममता बनर्जी को अब नंदीग्राम और सिंगूर से कोई राजनीतिक लाभ मिलनेवाला नहीं है. लिहाजा वहां के लोगों के लिए सोचने का अब उनके पास वक्त भी नहीं है. हालांकि बंगाल की जनता पूरे घटना क्रम को जानती है. उस दौरान सिंगूर का मुद्दा लोकसभा से लेकर हर जगह चर्चा का केंद्र बन गया था.
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने इस बाबत राज्य के गृह सचिव से रिपोर्ट मांगी गयी थी. 10 नवंबर को 13 लोगों की हत्या का मामला अब ममता बनर्जी भूल गयी है. इसका खामियाजा उन्हें चुनाव में उठाना पड़ेगा.
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