आगरा: उत्तरप्रदेश के विवादास्पद विधाक मुख्तार अंसारी को लोक सभा चुनाव में एक दिन प्रचार करने के लिए आज केंद्रीय कारागार से हिरासत में पैरोल पर रिहा किया गया गया.
अंसारी को तब रिहा किया गया जब उनकी पत्नी अफसान ने 1.27 लाख रुपये का मुचलका भरा. उनकी पार्टी कौमी एकता दल वाराणसी से कांग्रेस पार्टी का समर्थन कर रही है और वह स्वयं घोसी से चुनाव लड रहे हैं.
गैंगस्टर से राजनीतिक बने अंसारी साल 2009 के चुनाव में वाराणसी से भाजपा नेता मुरली मनोहर जोशी से 17 हजार मतों से पराजित हो गए थे. उन्हें एम्बुलेंस में घोसी क्षेत्र में ले जाया गया और उनके साथ पत्नी और परिवार के अन्य सदस्य शामिल थे.
अंसारी के खिलाफ महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम के तहत मामला चल रहा है और दिल्ली की एक अदालत ने एक मई को उन्हें लोकसभा चुनाव प्रचार के लिए 10 दिनों के लिए हिरासत में पैरोल पर रिहा करने को मंजूरी दी थी. अंसारी की पत्नी ने शिकायत की कि उनकी ओर से मुचलका भरे जाने के बावजूद रिहा करने में देरी की गई.