नयी दिल्लीः 2जी स्पेक्ट्रम नीलामी के मामले पर सरकार को सुप्रीम कोर्ट से झटका लगा है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि सरकार नीलामी की प्रक्रिया तो कर सकती है लेकिन कोर्ट के अगले आदेश तक इसके नतीजे घोषित नहीं कर सकती.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि सरकार के टेंडर मंगाने के तरीके में कुछ अनियमितताएं हैं. कोर्ट के इस बयान के मद्देनजर उसका फैसला अहम हो गया है. कोर्ट ने सरकार को निर्देश दिया है कि वो ऑक्शन के लिए आई बोलियों के विवरण कोर्ट में जमा कराए. 4 मार्च से स्पेक्ट्रम नीलामी शुरू होने वाली थी. अब कोर्ट इस मामले में टेलीकॉम कंपनियों की याचिका पर 26 मार्च को सुनवाई करेगा.
सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली, इलाहाबाद समेत सभी हाइकोर्ट में चल रहे इस तरह के मामलों पर भी रोक लगा दी है. उत्तर पूर्व सर्किल के स्पेक्ट्रम नीलामी मामले में केंद्र सरकार सुप्रीम कोर्ट पहुंची है. सरकार ने त्रिपुरा हाई कोर्ट के अंतरिम आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है.
हाई कोर्ट ने अपने अंतरिम आदेश में भारती हेक्साकॉम और रिलायंस टेलीकॉम को 5 मेगाहर्ट्ज बैंड के अलावा 4.4 मेगाहर्ट्ज बैंड की नीलामी में भी भाग लेने की अनुमति दे दी है. इतना ही नहीं, हाई कोर्ट ने यह भी कहा है कि सरकार स्पेक्ट्रम नीलामी के बारे में फिलहाल कोई अंतिम फैसला नहीं लेगी.
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