Radheshyam Kushwaha
भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि गणेश जी को समर्पित है. गणेश चतुर्थी के दिन लोग अपने-अपने घरों में गणपति की प्रतिमा की स्थापना करते हैं.
हर साल भाद्रमक्ष मास में शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि पर गणेश चतुर्थी का पर्व मनाया जाता है. इसी दिन से 10 दिनों तक चलने वाले गणेश महोत्सव की शुरुआत हो जाती है.
इस साल गणेश चतुर्थी 19 सितंबर दिन मंगलवार से शुरू हो रही है. गणेश चतुर्थी में लोग गणपति बप्पा को अपने घर पर लाते हैं, उनकी स्थापना करके पूजा-अर्चना करते हैं.
भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि 18 सितंबर को दोपहर 12 बजकर 39 मिनट से प्रारंभ होगी और यह 19 सितंबर को दोपहर 01 बजकर 43 मिनट तक रहेगी. उदयातिथि को देखते हुए 19 सितंबर को गणेश चतुर्थी मनाई जाएगी.
इस साल गणेश चतुर्थी के दिन रवि योग बन रहा है, जो सुबह 06 बजकर 08 मिनट से दोपहर 01 बजकर 48 मिनट तक है. गणेश चतुर्थी पूजा का शुभ मुहूर्त दिन में 11 बजकर 01 मिनट से दोपहर 01 बजकर 28 मिनट तक है.
इस दिन सुबह उठकर स्नान कर लें.
स्नान करने के बाद घर के मंदिर में दीप प्रज्वलित करें.
इस दिन गणेश जी की प्रतिमा की स्थापना की जाती है.
गणपित भगवान का गंगा जल से अभिषेक करें.
गणपति की प्रतिमा की स्थापना करें.
संभव हो तो इस दिन व्रत भी रखें.
भगवान गणेश को पुष्प अर्पित करें.
भगवान गणेश को दूर्वा घास भी अर्पित करें.
भगवान गणेश को सिंदूर लगाएं.
भगवान गणेश का ध्यान करें.
गणेश जी को भोग भी लगाएं.
भगवान गणेश की आरती जरूर करें.
भगवान गणेश की प्रतिमा, लाल कपड़ा, दूर्वा, जनेऊ, कलश, नारियल, पंचामृत, पंचमेवा, गंगाजल, रोली, मौली लाल