आईपीएल 2020 के पूरे सत्र का आयोजन पिछले साल संयुक्त अरब अमीरात में किया गया था. उस टूर्नामेंट में महेंद्र सिंह धोनी की अगुवाई में चेन्नई सुपर किंग्स का प्रदर्शन काफी खराब रहा था. एमएस धोनी खुद काफी खराब फॉर्म में थे.
टूर्नामेंट के लीग मैच खत्म होने पर चेन्नई की टीम प्वाइंट टेबल में सातवें नंबर पर थी. इसके बाद धोनी और उनकी टीम की काफी आलोचना हुई. टीम को बूढ़ों की फौज तक कहा गया. लेकिन 10 महीने बाद ही टीम ने सबसे पहले प्लेऑफ में पहुंचकर आलोचकों को करारा जवाब दिया.
टीम में आए इस बदलाव से फैन्स में काफी खुशी है. वहीं कल गुरुवार को सनराइजर्स हैदराबाद को हराकर धोनी की चेन्नई प्लेऑफ में पहुंचने वाली पहली टीम बन गयी है. चेन्नई ने अब तक 11 में से 9 मुकाबले जीत लिए हैं.
सितंबर में शुरू हुए आईपीएल 2021 के दूसरे सीजन में अब तक धोनी की सीएसके एक भी मैच नहीं हारी है. टीम के प्रदर्शन को लेकर कहा जा रहा है कि कप्तान धोनी के एक मंत्र ने टीम में नयी जान फूंक दी और प्रदर्शन में काफी सुधार आया.
धोनी ने पिछले सीजन में खराब प्रदर्शन के बाद टीम के खिलाड़ियों को एक संदेश दिया था, जिसके बाद खिलाड़ियों के मन में आत्मविश्वास पैदा हुआ. यह उसी का परिणाम है कि टीम ने इस सीजन में शानदार खेल का प्रदर्शन किया है.
सीएसके के सीईओ विश्वनाथन ने कहा कि धोनी ने अपने संदेश में कहा था कि अब चिंता की कोई बात नहीं है. हमारा केवल एक सीजन खराब गया है और ऐसा खेल में होते रहता है. धोनी के इन्हीं शब्दों ने खिलाड़ियों पर जादू का काम किया.
विश्वनाथन ने कहा कि धोनी के इस मंत्र का खिलाड़ियों पर ऐसा असर हुआ कि सभी खिलाड़ी एक बार फिर चमक गये. खिलाड़ियों का कप्तान पर विश्वास बढ़ा है. सुरेश रैना का लीग बीच में छोड़ना भी सीएसके के लिए खराब रहा था.