बताया गया कि संजोग ने प्रमाण पत्र बनाने के लिए अक्तूबर 2016 में आवेदन दिया था, लेकिन कर्मचारी प्रमाण पत्र देने में आनाकानी कर रहा था. उसने संजोग से पांच हजार रुपये रिश्वत की मांग की थी. संजोग ने कहा कि उसकी आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है.
वह दो हजार रुपये दे सकता है. इस पर हलका कर्मचारी तैयार हो गया. संजोग ने इसकी शिकायत एसीबी से की. सोमवार को संजोग ने जैसे ही कर्मचारी को पैसा दिया, एसीबी की टीम ने उसे दबोच लिया.