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एक करोड़ का बना भवन, बिजलीकरण के लिए पैसा नहीं
आसनसोल : आसनसोल जिला अस्पताल में दूर-दराज से आनेवाले मरीजों को लेकर आने वाले परिजनों को रात बिताने के लिए अस्पताल परिसर में बनाये गये पेशेंट पार्टी शेल्टर का उद्घाटन अप्रैल में किया जायेगा. तत्कालीन सांसद वंशगोपाल चौधरी ने सांसद विकास मद से वर्ष 2012 में एक करोड़ रुपये का आवंटन किया था. लेकिन विद्युतीकरण […]
आसनसोल : आसनसोल जिला अस्पताल में दूर-दराज से आनेवाले मरीजों को लेकर आने वाले परिजनों को रात बिताने के लिए अस्पताल परिसर में बनाये गये पेशेंट पार्टी शेल्टर का उद्घाटन अप्रैल में किया जायेगा. तत्कालीन सांसद वंशगोपाल चौधरी ने सांसद विकास मद से वर्ष 2012 में एक करोड़ रुपये का आवंटन किया था.
लेकिन विद्युतीकरण के लिए 16 लाख रुपये उपलब्ध नहीं होने के कारण विद्युतीकरण नहीं हो पा रहा है. अस्पताल अधीक्षक डॉ निखिल चंद्र दास स्वास्थ्य विभाग के राज्य मुख्यालय से गुहार लगाने कोलकाता जायेंगे. निवर्त्तमान सांसद श्री चौधरी ने भी भवन में जल्द विद्युतीकरण कराने की अपील महकमाशासक अमिताभ दास से की है.
पूर्व सांसद श्री चौधरी ने बताया कि जिला अस्पताल में महकमा समेत झारखंड के सीमावर्त्ती व पुरुलिया जिला से बड़ी संख्या में मरीज आते हैं. अस्पताल के निकट ठहरने की व्यवस्था नहीं होने के कारण उनके परिजनों को काफी परेशानी होती है. खासकर महिलाओं को काफी परेशानी होती है. उनकी सुविधा के लिए पेशेंट पार्टी शेल्टर निर्माण के लिए सांसद विकास मद से एक करोड़ रुपये का आवंटन वर्ष 2012 में किया. निर्माण कार्य वर्ष 2013 में आरंभ हुआ और इस समय इसका निर्माण पूरा हो गया है.
विद्युतीकरण नहीं होने से इसका उद्घाटन नहीं हो पा रहा है. भवन तीन तल्ला बना है, नीचे तल्ला में कैंटीन की व्यवस्था तथा दूसरे व तीसरे तल्ला में परिजनों के रहने की व्यवस्था होगी. पीपीपी मॉडल के तहत इसका संचालन होगा. उन्होंने महकमाशासक श्री दास से पहल करने का आग्रह किया है. अस्पताल अधीक्षक डॉ दास ने कहा कि लोक निर्माण विभाग ने एककरोड़ रुपये की लागत से भवन निर्माण किया, उन्होंने इसमें विद्युतीकरण को नहीं जोड़ा था. इस कारण विद्युतीकरण नहीं हो पाया है. इस मद में 16 लाख रुपये की आवश्यकता है. इसका प्रस्ताव राज्य मुख्यालय भेजा गया है. मुख्यालय से कुछ दस्तावेज मांगें गये हैं. वे अगले माह उन्हें लेकर कोलकाता जायेंगे. अप्रैल में इसका उद्घाटन हो सकता है. कम खर्च पर मरीजों के परिजनों को कमरे मिलेंगे. कुछ संयुक्त और कुछ सिंगल रूम हैं.
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